सीएम फेस कौन?: मध्य प्रदेश में शिवराज तो राजस्थान में वसुंधरा राजे की सीएम कुर्सी खतरे में! भावनात्मक बयान और अकेले पड़ने से मिल रही है सियासी तूल
- शिवराज के भावनात्मक अपील से मुख्यमंत्री पद को लेकर सियासी तकरार जारी
- राजस्थान में बीजेपी ने सीएम फेस को लेकर नहीं तय किए उम्मीदवार
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। मध्य प्रदेश में बीजेपी ने अभी तक मुख्यमंत्री पद के चेहरे के लिए कोई स्पष्ट बयान नहीं दिया है। जिसके चलते प्रदेश की सियासत में सीएम फेस बदलने को लेकर चर्चाएं तेज हैं। पिछले कुछ दिनों से सूबे के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान सार्वजनिक रैलियों में भावुक होते दिखाई दे रहे हैं। जिससे संकेत मिल रहे हैं कि इस बार प्रदेश में भाजपा की सरकार बनती है तो शिवराज सिंह चौहान का सीएम फेस से पत्ता कट सकता है।
गौरतलब है कि मंगलवार को शिवराज सिंह चौहान अपने विधानसभा क्षेत्र बुधनी पहुंचे। जहां उन्होंने संबोधन के दौरान बुधनी के लोगों से पूछा कि क्या उन्हें फिर से चुनाव लड़ना चाहिए या नहीं? इस पर लोगों ने सीएम शिवराज के नारे लगाना शुरू कर दिए। इससे पहले रविवार को सीएम शिवराज अपने गृह जिले सीहोर में भी एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा था कि उनके जाने के बाद लोग उन्हें याद करेंगे।
हाल ही में बीजेपी ने दूसरी लिस्ट जारी की थी। जिसमें पार्टी ने तीन केंद्रीय मंत्री समेत चार सांसदों को विधानसभा चुनाव लड़ने का मौका दिया। इनमें केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, पह्लाद पटेल और केंद्रीय राज्यमंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते और सांसद में राकेश सिंह, गणेश सिंह, रीति पाठक और उदय प्रताप सिंह विधानसभा चुनाव लड़ रहे हैं।
सीएम फेस पर असमंजस की स्थिति
इधर, बीजेपी के महासचिव कैलाश विजयवर्गीय भी इंदौर-1 से विधानसभा चुनाव लड़ रहे हैं। हाल ही में उनके बयान से सीएम फेस को लेकर असमंजस की स्थिति पैदा हो गई। कैलाश विजयवर्गीय ने भीड़ को संबोधित करते हुए कहा था कि पार्टी ने उन्हें केवल विधायक बनने के लिए नहीं भेजा, बल्कि हमें बड़ी जिम्मेदारी दी जाएगी।
राजनीतिक जानकारों के मुताबिक, विधानसभा चुनाव लड़ रहे सभी दिग्गजों के समर्थकों को उम्मीद है कि चुनाव के बाद उनके नेता को मुख्यमंत्री पद सौंपा जाएगा। हालांकि, अभी तक पार्टी की ओर से मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर कोई स्पष्ट बयान सामने नहीं आया है और न ही शिवराज सिंह चौहान को दोबारा मुख्यमंत्री बनाए जाने को लेकर गारंटी दी गई है। शायद यही वजह है कि प्रदेश में सीएम शिवराज अकेले नजर आ रहे हैं। वे हर दिन 2 से 3 रैली और जनसभा को संबोधित कर रहे हैं। इस दौरान वे अपने पिछले 18 साल में प्रदेश में किए कामों पर प्रकाश डाल रहे हैं।
भावनात्मक अपील से मिल रही है सियासी तूल
सीएम शिवराज सिंह चौहान बुधवार को बुरहानपुर में लाडली बहना कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। इस कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा था कि 'भले ही मैं पत्तला दिखाई देता हूं, लेकिन मैं डटकर लड़ता हूं।' उन्होंने बुरहानपुर से प्रदेश की जनता को संदेश देते हुए कहा कि दुनिया छोड़ने से पहले वह यह सुनिश्चित करेंगे कि राज्य में हर लड़की को सम्मानजनक जीवन मिले।
राजस्थान में भी सीएम फेस को लेकर तकरार जारी
इधर, राजस्थान में भी सीएम फेस को लेकर संशय बरकरार है। राज्य में बीजेपी की ओर से दो बार मुख्यमंत्री पद संभाल चुकी वसुंधरा राजे सिंधिया के हालात भी शिवराज सिंह चौहान के जैसे हैं। पार्टी ने वसुंधरा राजे को अभी तक कोई महत्वपूर्ण प्रचार की जिम्मेदारी नहीं दी है। इस वक्त राज्य में वसुंधरा राजे अपने प्रचार अभियान में जुटी हैं। साथ ही, वह अपने समर्थकों द्वारा आयोजित विभिन्न कार्यक्रमों में भाग लेने के अलावा हर दिन 2-3 सार्वजनिक जनसभाओं को संबोधित कर रही हैं। लेकिन, यहां भी पार्टी ने मुख्यमंत्री पद का चेहरा घोषित नहीं किया है।
अटकलें यह भी लगाई जा रही है कि बीजेपी राजस्थान में भी केंद्रीय मंत्री को विस चुनाव में उतार सकती है। अभी तक पार्टी ने राजस्थान में एक प्रत्याशी को टिकट नहीं दिया है।
Created On :   6 Oct 2023 2:18 PM IST