Shani Dev: भगवान शनिदेव की पूजा में भूलकर भी नहीं चढ़ाने चाहिए ये फूल, संकटों का करना पड़ सकता है सामना

भगवान शनिदेव की पूजा में भूलकर भी नहीं चढ़ाने चाहिए ये फूल, संकटों का करना पड़ सकता है सामना
  • शनिदेव को लाल रंग के फूल चढ़ाने की मना ही है
  • शास्त्रों में कई फूल बताए हैं जो देवताओं को पसंद हैं
  • कई फूल अर्पित करने से शनिदेव नाराज हो सकते हैं

डिजिटल डेस्क, भोपाल। हिन्दू धर्म में शनिदेव को कर्मफलदाता के रूप में जाना जाता है। ऐसी मान्यता है कि, यदि शनि देव किसी व्यक्ति से प्रसन्न होते हैं तो उसे रंक से राजा बना देते हैं, लेकिन य​दि वे नाराज हो जाएं तो आप राजा से रंक भी बन सकते हैं। ऐसे में शनिदेव को प्रसन्न करने के लिए कई सारे उपाय बताए गए हैं। क्योंकि, सूर्यपुत्र शनिदेव की आराधना से कई प्रकार की समस्याओं से मुक्ति मिलती है।

लेकिन, आपको शनिदेव की पूजा में कई सामान्य बातों का ध्यान रखना भी जरूरी है। जैसे कि, हम किसी भी मंदिर में देवी या देवता को फूल अर्पित करते हैं। शनि मंदिर में भी लोग कुछ ऐसा ही करते हैं, लेकिन इस दौरान आपको ध्यान रखना चाहिए कि शनिदेव को कौन से फूल चढ़ाना वर्जित है। क्योंकि, ऐसे कई फूल हैं, जिन्हें चढ़ाने से शनिदेव आपसे नाराज हो सकते हैं और आपको संकटों का सामना करना पड़ सकता है। आइए जानते हैं इनके बारे में...

गेंदे का फूल

जब भी हम मंदिर में जाते हैं तो आमतौर पर बाजार या घर से गेंदे के फूल भगवान को अर्पित करने के लिए ले जाते हैं। शास्त्रों में भी इसे एक मात्र ऐसा फूल बताया गया है जो कि सभी देवी-देवताओं को अर्पित किया जा सकता है और वे इससे प्रसन्न होते हैं। लेकिन, शनिदेव के मंदिर जा रहे हैं तो ध्यान रखिए कि यह फूल आप उन्हें अर्पित ना करें।

ऐसा कहा जाता है कि, गेंदे का फूल सूर्य का प्रतीक है और भगवान सूर्य और शनिदेव के संबंध शास्त्रों में अच्छे नहीं बताए गए हैं। यही कारण है कि, गेंदे के फूल शनिदेव को चढ़ाने से वे आपसे नाराज हो सकते हैं।

गुड़हल का फूल

शनिदेव को गुड़हल के फूल चढ़ाने की भी मनाही है। इसका कारण है कि इसका लाल रंग, जो मंगल से संबंध रखता है और ज्योतिष शास्त्र में शनि व मंगल का एक साथ होना अशुभ माना गया है। ऐसा कहा जाता है कि, जब आप शनिदेव को लाल रंग के फूल चढ़ाते हैं तो इसका मतलब शनि और मंगल का एक होना है। ऐसे में आपके जीवन में समस्याएं आ सकती हैं।

गुलाब का फूल

इस फूल का रंग भी कुछ हद तक लाल ही होता है और इसे भी शनिदेव को अर्पित करने की मना ही होती है। क्योंकि, जिस प्रकार गुड़हल के फूल चढ़ाना वर्जित है वही कारण यहां भी मिलता है। शनिदेव को लाल रंग के फूल चढ़ाने से आपको शनिदेव के क्रोध का सामना करना पड़ सकता है।

डिसक्लेमरः इस आलेख में दी गई जानकारी अलग अलग किताब और अध्ययन के आधार पर दी गई है। bhaskarhindi.com यह दावा नहीं करता कि ये जानकारी पूरी तरह सही है। पूरी और सही जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ (ज्योतिष/वास्तुशास्त्री/ अन्य एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें।

Created On :   18 Nov 2024 12:57 PM IST

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