मौसम की मार से बची फसल जंगली जानवर कर रहे चट

Wild animals are eating the crop left by the weather
मौसम की मार से बची फसल जंगली जानवर कर रहे चट
अकोला  मौसम की मार से बची फसल जंगली जानवर कर रहे चट

डिजिटल डेस्क, अकोला. जिले में किसानों द्वारा बुआई करने के पश्चात बारिश देरी से हुई। वहीं लगातार हुई बारिश के कारण अतिवृष्टि तथा बाढ के कारण फसल बर्बाद हो गई है। इस प्राकृतिक मार से बची फसलों को लेकर आर्थिक संकट में फंसे किसानों को कुछ प्रमाण में राहत मिलने की संभावना दिखाई दे रही थी। लेकिन किसानों की उम्मीद भी अब धाराशायी होती हुई महसूस हो रही है। इन फसलों को अब जंगली जानवर चट कर रहे है, इन वनप्राणियों का वनविभाग बंदोबस्त करे ऐसी मांग किसानों द्वारा की जा रही है। शहर से सटे ग्राम बोर्डी के किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें स्पष्ट रूप से दिखाई दे रही है। किसान राजेश ताडे, पिंटू सोनोने ने कपास, प्रमोद नाचनकर ने सोयाबीन समेत अन्य किसानों ने विविध फसलों की बुआई की है। प्राकृतिक मार से बची इन फसलों को इन दिनों वनप्राणी चट कर रहे हैं। किसानों ने महंगे बीज, खाद, कीटनाशक व खेती की मशक्कत पर हजारों रूपए खर्च किए हैं। प्राकृतिक विपत्ति तथा वनप्राणियों द्वारा फसल चट किए जाने के बाद खर्च की राशि भी निकल पाती है अथवा नहीं यह विचार कर किसानों में निराशा दिखाई दे रही है। बोर्डी परिसर में वनप्राणियों द्वारा फसलों को बडे पैमाने पर नुकसान पहुंचा रहे हैं। फसलों को जंगली प्राणियों से बचाने के लिए किसान दिन रात अथक प्रयास कर रहे है। नकदी फसल के रूप में परिचित कपास की फसल में फल लग गए है किंतु अतिवृष्टि के चलते फल में कोम लग गए हैं।

खरीफ मौसम में किसानों की फसलें पूरी तरह से बर्बाद होने के कारण त्यौहारों के मौसम में उन्हें कर्ज के लिए साहूकारों के पास जाने की नौबत आ गई है। विगत दो से तीन वर्षों से किसान प्राकृतिक विपत्तियों के कारण आर्थिक संकट में फंस गया है। उस पर जंगली प्राणी फसल चट कर दुबले पर दो आषाड़ की कहावत को चरितार्थ कर रहे हैं। खेतों में हिरण, बंदर, जंगली सूअर  के अलावा दूसरे वनप्राणियों को किसान जब खदेड़ने का प्रयास करते हैं तो उन पर हमला करने का प्रयास करते हैं। लेकिन फसलों को बचाने के लिए किसान अपनी जान की भी परवाह नहीं कर रहे हैं। फसलों को वनप्राणियों से बचाने के लिए वनविभाग उपाययोजना करें ऐसी मांग किसानों द्वारा की जांच रही है।

Created On :   26 Sept 2022 5:48 PM IST

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