होलसेल प्राइज इंडेक्स : सात महीनों के उच्चतम स्तर पर पहुंची थोक महंगाई दर, बढ़कर हुई 2.59%
- दिसंबर में थोक महंगाई दर (WPI) 2.59% रही
- थोक महंगाई दर के दिसंबर माह के आंकड़े मंगलवार को जारी किए गए
- यह सात महीनों का सबसे उच्चतम स्तर है
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। थोक महंगाई दर के दिसंबर माह के आंकड़े मंगलवार को जारी किए गए। दिसंबर में थोक महंगाई दर (WPI) 2.59% रही, जो कि सात महीनों का सबसे उच्चतम स्तर है। अप्रैल 2019 में यह 3.24% रिकॉर्ड की गई थी। नवंबर में यह 0.58% थी। दिसंबर 2018 की बात करें, तो इस दौरान WPI 3.24% पर थी। मुख्य रूप से खाद्य पदर्थों के दामों में आई तोजी से थोक महंगाई दर में बढ़त आई है।
प्याज और आलू के दामों में तेजी
सरकारी आंकड़ों के अनुसार महीने दर महीने के आधार पर फूड इंफ्लेशन 9.02% से बढ़कर 11.05% हो गया है। वेजिटेबल इंफ्लेशन 45.32% के मुकाबले 69.69%, मैन्युफैक्चर्ड प्रोडक्ट इंफ्लेशन -0.84% के मुकाबले 0.25%, ओनियन इंफ्लेशन 172.30% के मुकाबले 455.83%, एग-मीट और फिश इंफ्लेशन 8.15% के मुकाबले 6.21%, पोटेटो इंफ्लेशन -8.51% के मुकाबले 44.97%, प्राइमरी आर्टिकल्स 7.68% के मुकाबले 11.46%, फ्यूल एंड पावर इंफ्लेशन -7.32% के मुकाबले -1.46% हो गया है।
खुदरा महंगाई दर में भी देखी गई तेजी
इससे पहले रिटेल महंगाई दर के दिसंबर माह के आंकड़ों जारी किए गए थे। फूड आइटमों के दामों में हुई बढ़ोतरी के चलते महंगाई दर करीब साढ़े 5 साल के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई है। उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) आधारित महंगाई दर दिसंबर 2019 में बढ़कर 7.35% हो गई। जुलाई 2014 में यह 7.39 % थी। नवंबर महीने में यह 5.54 प्रतिशत थी। जबकि पिछले साल दिसंबर में यह 2.11% थी। सेंट्रल स्टेटस्टिक्स ऑफिस (CSO) ने ये आंकड़े जारी किए हैं।
क्या होता है WPI इंडेक्स?
थोक मूल्य सूचकांक (WPI) की गणना थोक बाजार में उत्पादकों और बड़े व्यापारियों द्वारा किये गए भुगतान के आधार पर की जाती है। इसमें उत्पादन के प्रथम चरण में अदा किये गए मूल्यों की गणना की जाती है। भारत में मुद्रा स्फीति की गणना इसी सूचकांक के आधार पर की जाती है।
क्या होता है CPI इंडेक्स?
CPI को उपभोक्ता मूल्य सूचकांक कहा जाता है, जो रिटेल महंगाई का इंडेक्स है। रिटेल महंगाई वह दर है, जो जनता को सीधे तौर पर प्रभावित करती है। यह खुदरा कीमतों के आधार पर तय की जाती है। भारत में खुदरा महंगाई दर में खाद्य पदार्थों की हिस्सेदारी करीब 45% है। दुनिया भर में ज्यादातर देशों में खुदरा महंगाई के आधार पर ही मौद्रिक नीतियां बनाई जाती हैं।
Government of India: The annual rate of inflation, based on monthly WPI, stood at 2.59% (provisional) for the month of December, 2019 (over December,2018) as compared to 0.58% (provisional) for the previous month. pic.twitter.com/Dx5xQB3WtB
— ANI (@ANI) January 14, 2020
Created On :   14 Jan 2020 1:20 PM GMT