फ्यूचर रिटेल ने हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ अपील पर सुप्रीम कोर्ट में जल्द सुनवाई की मांग की

Future Retail seeks early hearing by SC on appeal against HC order
फ्यूचर रिटेल ने हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ अपील पर सुप्रीम कोर्ट में जल्द सुनवाई की मांग की
Future Retail फ्यूचर रिटेल ने हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ अपील पर सुप्रीम कोर्ट में जल्द सुनवाई की मांग की
हाईलाइट
  • फ्यूचर रिटेल ने हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ अपील पर सुप्रीम कोर्ट में जल्द सुनवाई की मांग की

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को कहा कि वह फ्यूचर रिटेल लिमिटेड (एफआरएल) की दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश को चुनौती देने वाली नई अपील पर एक तारीख देगा।

दरअसल दिल्ली हाईकोर्ट की एकल न्यायाधीश पीठ ने दो फरवरी को फ्यूचर रिटेल को रिलायंस रिटेल के साथ 24,713 करोड़ रुपये के सौदे में यथास्थिति कायम रखने का निर्देश दिया था। अमेरिका की ई-कॉमर्स क्षेत्र की दिग्गज कंपनी अमेजन ने इस सौदे पर आपत्ति जताई थी।

वहीं शुक्रवार को हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए प्रधान न्यायाधीश (सीजेआई) एन. वी. रमना की अध्यक्षता वाली पीठ ने एफआरएल का प्रतिनिधित्व करने वाले वकील से कहा, मुझे फाइल देखने दीजिए, फिर मैं तारीख मुकर्रर करूंगा।

एफआरएल का प्रतिनिधित्व करने वाले वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे और मुकुल रोहतगी ने पीठ से अपील पर जल्द सुनवाई की मांग की, जिसमें न्यायाधीश सूर्यकांत और ए. एस. बोपन्ना भी शामिल थे।

एफआरएल ने दिल्ली उच्च न्यायालय के एक हालिया आदेश के खिलाफ अपनी नई अपील पर सुप्रीम कोर्ट में जल्द सुनवाई की मांग की है। क्योंकि 17 अगस्त 2021 को दिल्ली उच्च न्यायालय ने कहा था कि एफआरएल और रिलायंस रिटेल के मामले में अगर चार हफ्तों में सुप्रीम कोर्ट से कोई स्टे नहीं मिलता है, तो वह 24,713 करोड़ रुपये के सौदे को आगे बढ़ने से रोकने वाले एकल-न्यायाधीश के आदेश को लागू करेगा।

साल्वे ने तर्क दिया कि उच्च न्यायालय के आदेश के दूरगामी परिणाम होंगे और उन्होंने कहा कि एफआरएल की अपील पर 9 सितंबर को सुनवाई होगी, क्योंकि उच्च न्यायालय 16 सितंबर को मामले की सुनवाई करने वाला है।

एक अन्य अपील का हवाला देते हुए रोहतगी ने कहा कि उच्च न्यायालय ने पूरी संपत्ति कुर्क करने का आदेश दिया है। उन्होंने आगे कहा कि अगर फ्यूचर ग्रुप और अन्य को शीर्ष अदालत से अनुकूल आदेश नहीं मिला तो अवमानना की कार्यवाही शुरू की जाएगी।

बता दें कि इससे पहले हाईकोर्ट ने फ्यूचर रिटेल को निर्देश दिया था कि वह रिलायंस के साथ सौदे पर आगे कोई कार्रवाई न करे। अदालत ने कहा था कि समूह ने जानबूझकर ईए के आदेश का उल्लंघन किया है। हाईकोर्ट ने फ्यूचर समूह की सभी आपत्तियों को खारिज कर दिया था। 17 अगस्त को, उच्च न्यायालय ने एफआरएल को पहले एकल-न्यायाधीश पीठ के आदेश को लागू करने के लिए कहा, जिसमें उसे सौदे पर आगे बढ़ने से रोक दिया गया था।

सिंगापुर के आपात निर्णायक (ईए) द्वारा एफआरएल को सौदे को आगे बढ़ने से रोकने के लिए अमेजन की याचिका पर सुनवाई करते हुए न्यायमूर्ति सुरेश कुमार कैत ने कहा था कि शीर्ष अदालत से किसी भी रोक के अभाव में, उनके पास 18 मार्च के न्यायमूर्ति जे. आर. मिढ़ा द्वारा पारित आदेश को लागू करने के अलावा कोई विकल्प नहीं है। न्यायाधीश ने कहा कि या तो 18 मार्च के आदेश पर दो से तीन सप्ताह के भीतर स्थगन प्राप्त करें या आदेश का पालन करें। इसके अलावा इस अदालत के पास कोई तीसरा विकल्प नहीं है।

मार्च को हाई कोर्ट की सिंगल जज बेंच ने एफआरएल को रिलायंस रिटेल के साथ डील करने से रोकने के अलावा फ्यूचर ग्रुप और उससे जुड़े अन्य लोगों पर 20 लाख रुपये की कॉस्ट (लागत) लगाई थी। न्यायाधीश ने उनकी संपत्तियों को कुर्क करने का भी आदेश दिया था।

 

आईएएनएस

Created On :   3 Sept 2021 11:30 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story