दुर्घटना: बाइक सवार को बचाने में पेड़ से भिड़ी पुलिस जीप, आरक्षक मृत, चौकी प्रभारी समेत 3 गंभीर
- एनडीपीएस एक्ट के आरोपी को ले जा रही थी पुलिस
- हादसे के बाद पुलिसकर्मी रीवा रेफर
- आरोपी जिला अस्पताल में इलाजरत
डिजिटल डेस्क, सतना। नागौद थाना क्षेत्र की पोंड़ी चौकी से एनडीपीएस एक्ट के आरोपी को जिला न्यायालय ला रही पुलिस जीप सिविल लाइन थाना क्षेत्र में दुर्घटनाग्रस्त हो गई, जिसमें एक आरक्षक की जान चली गई, तो वहीं चौकी प्रभारी और हेड कांस्टेबल समेत आरोपी घायल हो गया। एसपी आशुतोष गुप्ता ने बताया कि पोंड़ी चौकी प्रभारी अरूण त्रिपाठी, अपने सहकर्मी प्रधान आरक्षक पंकज मिश्रा और आरक्षक क्रांती मिश्रा के साथ एनडीपीएस एक्ट के आरोपी को लेकर शनिवार शाम न्यायालय आ रहे थे, तकरीबन सवा 5 बजे सोहावल मोड़ से आगे पहुंचते ही गलत दिशा से बाइक सवार अचानक सामने आ गया, जिसको बचाने के प्रयास में बोलेरो अनियंत्रित होकर सडक़ किनारे लगे पेड़ से टकरा गई। इस दुर्घटना में सभी लोग बुरी तरह घायल हो गए, जिनको आनन-फानन जिला चिकित्सालय लाया गया।
पुलिसकर्मी किए गए रीवा रेफर
गंभीर हालत के चलते चौकी प्रभारी अरुण त्रिपाठी व आरक्षक क्रांती मिश्रा को प्राथमिक उपचार के बाद रीवा रेफर कर दिया गया, तो वहीं हाथ, पैर में फ्रैक्चर से पीडि़त हेड कांस्टेबल पंकज को बिरला हॉस्पिटल भेजा गया, जहां कुछ देर तक चले इलाज के पश्चात उनको भी एसजीएमएच ले जाया गया। रीवा पहुंचते ही डॉक्टरों ने चेकअप के बाद कांस्टेबल क्रांती कुमार को मृत घोषित कर दिया। वहीं अन्य दोनों पुलिसकर्मियों की स्थिति भी चिंताजनक बनी हुई है। दुर्घटना की सूचना मिलते ही एसपी आशुतोष गुप्ता, सीएसपी महेंद्र सिंह, नागौद एसडीओपी विदिता डागर, नागौद टीआई अशोक पांडेय, सिविल लाइन टीआई योगेन्द्र सिंह परिहार और रक्षित निरीक्षक देविका सिंह बघेल ने जिला अस्पताल पहुंचकर पीड़ितों का हालचाल लेते हुए इलाज की उचित व्यवस्था कराई। उधर रीवा में आईजी महेंद्र सिंह सिकरवार समेत वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने संजय गांधी अस्पताल जाकर आहत पुलिस कर्मचारियों के स्वास्थ्य की जानकारी ली।
आरोपी जिला अस्पताल में इलाजरत
उधर आरोपी को भी सिर पर चोट लगी थी, जिसका इलाज पुलिस की निगरानी के बीच जिला चिकित्सालय में चल रहा है। इस बीच पुलिस अधीक्षक के विशेष आग्रह पर एनडीपीएस कोर्ट के विशेष न्यायाधीश ने हॉस्पिटल पहुंचकर आवश्यक कार्रवाई करते हुए आरोपी को 15 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेजने का आदेश जारी कर दिया। ऐसे में छुट्टी मिलते ही उसे केन्द्रीय कारागार पहुंचा दिया जाएगा।