अमरावती जिले के 5 लाख 65 हजार ग्राहकों को लगेगा विद्युत बिल वृद्धि का झटका
व्यावसायिक व औद्योगिक ग्राहक भी होंगे प्रभावित अमरावती जिले के 5 लाख 65 हजार ग्राहकों को लगेगा विद्युत बिल वृद्धि का झटका
डिजिटल डेस्क, अमरावती। ग्रीष्मकाल की शुरुआत में ही महाराष्ट्र राज्य विद्युत नियामक आयोग ने शनिवार 1 अप्रैल से शुरू हुए नए आर्थिक वर्ष में पहले ही दिन घरेलू विद्युत ग्राहकों के बिजली दर में 2.9 प्रतिशत व आगामी वर्ष के लिए 5.6 प्रतिशत से दर वृद्धि करने को मंजूरी दे दी है। विद्युत नियामक आयोग के इस निर्णय का जिले के 5 लाख 65 हजार घरेलू विद्युत ग्राहकों को आर्थिक झटका लगेगा।
पहले ही महंगाई की मार झेल रही सर्व सामान्य जनता का इस बिजली दर वृद्धि से बजट बिगड़ सकता है। इस निर्णय से और जिले के विद्युत ग्राहकों को हर माह बिजली इस्तेमाल के लिए ज्यादा शुल्क देना पड़ेगा।
विद्युत भवन से मिली जानकारी के अनुसार अमरावती जिले में घरेलू विद्युत ग्राहकों की संख्या 5 लाख 65 हजार के करीब है। इसके अलावा व्यावसायिक विद्युत ग्राहकों की संख्या 40 हजार 600, औद्योगिक 8 हजार, शासकीय व निम शासकीय कार्यालय के बिजली कनेक्शन धारकों की संख्या 10 हजार 500 बताई गई है। जिले में उच्च दाब का कनेक्शन लेने वाले ग्राहक 222 हैं जबकि कृषि पंप कनेक्शन धारकों की संख्या 1 लाख 39 हजार हंै।
राजस्व नुकसान से आई हुई कमी को पूर्ण करने महावितरण ने महाराष्ट्र राज्य विद्युत नियामक आयोग के पास दाखल की हुई याचिका में आगामी दो आर्थिक वर्ष क्रमश: 14 प्रतिशत व 11 प्रतिशत औसतन दर वृद्धि प्रस्तावित की थी। यह औसतन दरवृद्धि प्रति यूनिट 1 रुपए तक की गई है। जिसमें स्थिर व विद्युत तथा विविध अधिभार का समावेश है। महावितरण ने पिछले 6 वर्ष में हुआ राजस्व नुकसान की कमी पूर्ण करने के लिए वर्ष 2023-24 व 2024-25 इन दो आर्थिक वर्ष में औसतन 2.55 रुपए प्रति यूनिट यानी 37 प्रतिशत विद्युत दरवृद्धि का प्रस्ताव देने का अारोप किया था। किंतु विद्युत नियामक आयोग ने वर्ष 2020-21 से महावितरण के लिए बहुवार्षिक दर रचना मंजूर करते समय महावितरण के राजस्व का अनुमान निश्चित किया था। कोरोना काल व कोयले के संकट से बढ़े हुए खर्च के साथ ही विविध कारणों से अपेक्षित राजस्व इकट्ठा नहीं किया। परिणाम स्वरूप पिछले 4 आर्थिक वर्ष का महसूली नुकसान व आगामी दो आर्थिक वर्ष की अपेक्षित कमी इस तरह 6 वर्ष के नुकसान का विचार करते हुए महावितरण ने दो वर्ष में यह नुकसान पूर्ण करने के लिए विद्युत दर वृद्धि का प्रस्ताव रखा है।