महाभारत के समय में इंटरनेट और सैटेलाइट थे : सीएम बिप्लब देब
महाभारत के समय में इंटरनेट और सैटेलाइट थे : सीएम बिप्लब देब
डिजिटल डेस्क, अगरतला। त्रिपुरा के मुख्यमंत्री बिप्लब कुमार देब ने इंटरनेट और सैटेलाइट को लेकर दावा किया है कि ये सब महाभारत काल में भी मौजूद था। गुवाहाटी में एक कार्यक्रम के दौरान बिप्लब देब ने कहा कि "महाभारत के दौरान संजय ने बैठकर धृतराष्ट्र को बताया था कि युद्ध में क्या हो रहा है। इसका मतलब है कि उस समय भी इंटरनेट था, सैटेलाइट थी।"
बिप्लब देब ने क्या कहा?
गुवाहाटी में एक कार्यक्रम के दौरान बोलते हुए त्रिपुरा सीएम बिप्लब कुमार देव ने कहा कि "ये देश वो देश है, जिसमें महाभारत में संजय ने बैठकर धृतराष्ट्र को युद्ध में क्या हो रहा था, बता रहा था। इसका मतलब क्या है? टेक्नोलॉजी थी, इंटरनेट था, सैटेलाइट थी। संजय आंख से कैसे देख सकते थे, इसका मतलब टेक्नोलॉजी थी। इस बीच बहुत कुछ चेंज हुआ, लेकिन उस जमाने में टेक्नोलॉजी थी। जिसको लेकर आज हम काम कर रहे हैं।" उन्होंने आगे कहा "मैं आपको बधाई देता हूं कि आप लोग ये काम कर रहे हैं, लेकिन ये काम आप लोगों ने पहले आविष्कार नहीं किया। इस देश में लाखों साल पहले हो चुका था। मैं गर्व महसूस करता हूं कि मेरा जन्म उस देश में हुआ, जो देश टेक्नोलॉजी में आगे चल रहा था।" बिप्लब देब ने कहा "आज के दिन में कुछ यूरोपियन कंट्री बोल सकती है कि ये टेक्नोलॉजी हमारी है। अमेरिका बोल सकता है ये हमारा है, लेकिन इनका नहीं है, ये सब हमारा है।"
Tripura CM Biplab Deb claims Internet, Satellites were first in India since Mahabharata"s time. Dhritarastra, Sanjay used Internet in Mahabharata time. Not USA or Western Countries but Biplab Deb claims it"s India invented Internet. pic.twitter.com/pgv1xw5Nx3
— TK (@TayeebKashem) April 17, 2018
नरेंद्र मोदी की तारीफ भी की
इस दौरान बिप्लब देब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ भी की। उन्होंने कहा कि "नरेंद्र मोदी जी के आने के बाद से हम सबको फेसबुक, वाट्सएप, ट्विटर चलाना जरूरी है। मोदी जी खुद मॉनिटर करते हैं सब और पूछते हैं कि तुम्हारा सोशल मीडिया अपडेट क्यों नहीं हुआ है। तो ऐसे प्रधानमंत्री मिले हैं हमको।"
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कौन हैं बिप्लब देब?
त्रिपुरा के 10वें सीएम बने बिप्लब देब ने 1999 में त्रिपुरा यूनिवर्सिटी से ग्रेजुएशन किया था। उनके खिलाफ कोई क्रिमिनल केस दर्ज नहीं है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, बिप्लब ने अपने इलेक्शन कमीशन को दिए एफिडेविट में अपनी संपत्ति मात्र 2,99,290 रुपए बताई है। त्रिपुरा में बिप्लब की छवि बहुत साफ मानी जाती है। इतना ही नहीं कहा ये भी जाता है बिप्लब बोलने में नहीं बल्कि काम करने पर विश्वास रखते हैं। इसके साथ ही बिप्लब राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) से भी जुड़े रहे हैं। बिप्लब ने RSS के सीनियर लीडर केएन गोविंदाचार्य के साथ काम भी किया है और वो शुरुआत से ही RSS के साथ मिलकर काम करते रहे हैं। बिप्लब ने पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ा है और अभी वो 48 साल के हैं। बिप्लब की वाइफ बैंक में काम करती हैं और एफिडेविट के मुताबिक, उनकी संपत्ति 9,01,910 रुपए है।
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क्या रहे त्रिपुरा के नतीजे?
त्रिपुरा की 59 विधानसभा सीटों के लिए 17 फरवरी को वोटिंग हुई थी, जबकि नतीजे 3 मार्च को घोषित किए गए। इन चुनावों में बीजेपी ने इंडीजिनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ त्रिपुरा (IPFT) के साथ मिलकर चुनाव लड़ा था। जिसमें बीजेपी ने 51 सीटों पर अपने कैंडिडेट उतारे थे और 35 सीटों पर जीत दर्ज की। वहीं IPFT ने 9 सीटों पर अपने उम्मीदवार खड़े किए थे और 8 पर जीत हासिल की। इन चुनावों में लेफ्ट को सिर्फ 16 सीटें ही मिल पाई। जबकि कांग्रेस अपना खाता भी नहीं खोल सकी।
25 सालों बाद ढहा लेफ्ट का किला
त्रिपुरा में इन चुनावों में बीजेपी ने 25 सालों से सत्ता में काबिज लेफ्ट के किले को ढहा दिया। त्रिपुरा में 1978 के बाद से सिर्फ लेफ्ट सिर्फ एक बार 1988-93 के दौरान सत्ता से दूर रहा है। 1993 के बाद से 25 सालों से यहां CPI-M का कब्जा है और 1998 से लगातारा त्रिपुरा में 3 बार माणिक सरकार मुख्यमंत्री थे। 2013 के विधानसभा चुनावों में लेफ्ट ने यहां की 60 सीटों में 50 सीटों पर कब्जा किया था और कांग्रेस को 10 सीटें मिली थी। जबकि बीजेपी अपना खाता भी नहीं खोल पाई थी। वहीं 2018 में बीजेपी ने 35 सीटों पर कब्जा किया है।