जूम मीटिंग करते करते भारतीय मूल के इस विदेशी बॉस ने सैकड़ों लोगों को नौकरी से निकाल दिया
ढाई मिनट में 900 को बेरोजगार करने वाला बॉस जूम मीटिंग करते करते भारतीय मूल के इस विदेशी बॉस ने सैकड़ों लोगों को नौकरी से निकाल दिया
- बैटर डॉट कॉम के फाउंडर और सीईओ विशाल गर्ग का है ये फैसला
डिजिटल डेस्क,नई दिल्ली। विदेश में भारतीय मूल के कई लोग काम करते है, जिनके काम की चर्चा समय-समय पर होती रहती है। हाल ही में पराग अग्रवाल को ट्विटर का नया सीईओ बनाया गया, जिसके बाद उनकी खूब तारीफ हुई। लेकिन, भारतीय मूल के एक और सीईओ जिनकी तारीफ नहीं हो रही है। बल्कि लोग उनके फैसले की आलोचना कर रहे है। दरअसल, इन्होनें मात्र ढाई मिनट की जूम वीडियो कॉलिंग में कंपनी के 900 कर्मचारियों की छंटनी कर दी।
बैटर डॉट कॉम के फाउंडर और सीईओ विशाल गर्ग सोशल मीडिया में चर्चा का विषय बने हुए है। क्योंकि उन्होंने अपनी ही कंपनी के 900 कर्मचारियों की नौकरी मात्र ढाई मिनट में छीन ली और सबको बेरोजगार कर दिया। लोग इन्हें खडूस बॉस बोल रहे है।
Vishal Garg: “I wish I didn’t have to lay off 900 of you over a zoom call but I’m gonna lay y’all off right before the holidays lmfaooo”pic.twitter.com/6bxPGTemEG
— litquidity (@litcapital) December 5, 2021
क्या करते है विशाल गर्ग?
विशाल गर्ग बैटर डॉट कॉम के फाउंडर और सीईओ हैं और वो होम लोन के साथ कई प्रकार की सेवाएं मकान मालिकों को देते है। लिंक्डइन की मानें तो, विशाल वन जीरो कैपिटल के फाउंडिग पार्टनर भी हैं, जो एक इन्वेस्टमेंट होल्डिंग कंपनी है।
दूसरी बार कर रहे हैं ऐसी छटनी
नवभारत टाइम्स में छपी रिपोर्ट के अनुसार, विशाल गर्ग ऐसा अपने करियर में दूसरी बार कर रहे है। हालांकि ये करते हुए उन्हें बहुत बुरा लग रहा है। जब विशाल ने इतना सख्त फैसला पहली बार लिया था, तब वो रोए भी थे। उस वक्त उन्होंने लिखा था, "आप बहुत धीरे-धीरे काम करते हैं, आप बेवकूफ डॉल्फिनों के झुंड जैसे हो... तो बस करो... बस करो... बस करो... तुम मुझे शर्मिंदा कर रहे हो।"
कर्मचारियों के छटनी की वजह
विशाल गर्ग की मानें तो, उन्हें करियर में दूसरी बार इस तरह का फैसला लेने के लिए बहुत मजबूत होना पड़ा। क्योंकि जब उन्होंने पहली बार ऐसा फैसला लिया था तब वो रोए थे। लेकिन इस बार वो मजबूत बने है। उन्होंने कई कारण गिनाए और कहा कि, बाजार, प्रोडक्टविटी और प्रोडक्शन के काम को देखते हुए हमने कंपनी के लगभग 15 प्रतिशत कर्मचारियों की छंटनी कर दी।
कोरोना काल में की थी मदद
कोरोना काल में जब दुनिया सबसे ज्यादा जूझ रही थी, उस वक्त विशाल ने काफी दयालुता दिखाई और खूब चर्चा बटोरी थी। उस वक्त उनकी चर्चा सकारात्मक तौर पर की गई है। बता दें कि, विशाल ने महामारी के दौरान न्यूयॉर्क सिटी पब्लिक स्कूल के विद्यार्थियों की ऑनलाइन लर्निंग को बेहतर करने के लिए 20 लाख डॉलर डोनेट किए थे। इन पैसों का उपयोग आर्थिक तौर से कमजोर बच्चों की क्रोमबुक, आईपैड, वाईफाई हॉटस्पॉट, किताबें और ड्रेस खरीदने के लिए किया गया था।