सीतारमण: राशि वापसी के लिए मैकेनिज्म विकसित करने का अधिकार सुप्रीम कोर्ट के पास

  • उच्चतम न्यायालय ही तय करेगा कि सेबी या अन्य रेगुलेटिंग बाडीज किस निवेशक का पैसा कैसे रिफंड करेंगी।
  • वित्त मंत्री ने बताया कि मामले की सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में चल रही है

Bhaskar Hindi
Update: 2024-08-06 09:36 GMT

डिजिटल डेस्क,सतना। सहारा एवं पीसीएल में निवेश की राशि वापसी से जुड़े सांसद गणेश सिंह के एक सवाल के जवाब में केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोकसभा को बताया कि सतना समेत पूरे देश के लाखों निवेशकों ने बेहतर भविष्य की प्रत्याशा में सीधे या फिर एजेंटों के माध्यम से निवेश किए थे।

प्रश्नकाल में सांसद ने वित्त मंत्री से जानना चाहा था कि क्या ऐसे निवेशकों की राशि वापासी के लिए क्या कोई मैकेनिज्म विकसित किया गया है? वित्त मंत्री ने बताया कि मामले की सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में चल रही है, ऐसे में राशि वापिसी के लिए मैकेनिज्म विकसित करने का अधिकार न्यायालय को है।

अत: उच्चतम न्यायालय ही तय करेगा कि सेबी या अन्य रेगुलेटिंग बाडीज किस निवेशक का पैसा कैसे रिफंड करेंगी।

सांसद के सुझाव का स्वागत

जवाब के दौरान केंद्रीय वित्त मंत्री ने अप्रत्यक्ष निवेशकों की राशि वापिसी के मैकेनिज्म को विकसित करने के सांसद गणेश सिंह के सुझाव का स्वागत करते हुए कहा कि इस सुझाव को सरकार न्यायालय के समक्ष रख सकती है।

लोकसभा में यह दूसरा मौका है जब सांसद गणेश सिंह ने सहारा एवं पीसीएल में निवेश और राशि वापिसी के मसले को उठाया है। उन्होंने बताया कि सरकार द्वारा उठाए गए कदमों से भारी तादाद में निवेशकों का पैसा वापस लौट रहा है लेकिन एजेंट के जरिए अप्रत्यक्ष निवेश करने वाले निवेशकों का पोर्टल में नाम नहीं है जबकि उन निवेशकों का दावा तभी बनेगा जब उनके नाम पोर्टल में होंगे।

सांसद ने इस दौरान निवेशकों का पैसा लौटाने के लिए न्यायालय, सेबी , सरकार , वित्त मंत्रालय एवं वित्त मंत्री द्वारा उठाए जा रहे प्रभावी कदमों के प्रति आभार व्यक्त किया।

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