पलटवार: वायरल ओबीसी प्रमाणपत्र पर शरद पवार का पहला बयान, मेरी जाति सभी को पता
- पवार का बयान
- मैंने कभी जात-पात की राजनीति नहीं की
- मेरी जाति सर्वज्ञात
डिजिटल डेस्क, पुणे। सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे ओबीसी प्रमाणपत्र को लेकर राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद पवार ने बारामती में मराठा और ओबीसी आरक्षण के विवाद पर भी स्पष्ट टिप्पणी की। पवार ने कहा सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे दस्तावेज को मैंने देखा, हालांकि यह सही है, लेकिन कुछ लोगों ने एक अन्य प्रमाणपत्र वायरल किया है। शरद पवार ने साफ शब्दों में कहा कि मैंने कभी भी जाति की राजनीति नहीं की है, सभी जानते हैं कि मेरी जाति क्या है।
शरद पवार ने कहा कि मैंने अपना सर्टिफिकेट सोशल मीडिया पर वायरल होते देखा, मैं महाराष्ट्र एज्यूकेशन सोसायटी के हाई स्कूल में पढ़ रहा था। यह प्रमाण है, वे बातें सत्य हैं, लेकिन कुछ लोग दूसरा प्रमाणपत्र वायरल कर रहे हैं। मेरे नाम के सामने ओबीसी लिखा हुआ है, ओबीसी समुदाय में मेरी आस्था है, लेकिन हर कोई जन्म से मेरी जाति जानता है। मैंने कभी भी जाति के आधार पर राजनीति और सामाजिक कार्य नहीं किया और न ही करूंगा। उन्होंने यह विश्वास भी जताया कि मैं इस विवादास्पद मुद्दे को सुलझाने के लिए हर संभव योगदान दूंगा।
पवार ने कहा मुख्यमंत्री ने आरक्षण को लेकर सर्वदलीय बैठक की, उस बैठक में मुझे भी आमंत्रित किया गया था। इसमें राज्य के विभिन्न दलों के नेता मौजूद थे। उस बैठक में मराठा नेता जारांगे ने जो मांगें रखीं, मुख्यमंत्री ने उसे पूरा करने का आश्वासन गिया और सरकार इस संबंध में कदम उठा रही है। अब अगर उनका वो फैसला जल्द आए तो महौल ठीक होगा। आरक्षण का मुद्दा राज्य सरकार और केंद्र सरकार के अधीन है। इस बात को नजर अंदाज नहीं किया जा सकता कि मराठा समुदाय के युवाओं में आरक्षण की भावना प्रबल है। शरद पवार ने कहा कि हम लोगों की भावनाओं को केंद्र और राज्य के सामने रखेंगे।
इस बीच, ठाणे शहर में छिड़े घमासान पर शरद पवार ने कहा कि ठाणे जिला कई वर्षों से शिवसेना का गढ़ रहा है। वहां शिवसेना का संगठन मजबूत है, कार्यालय मजबूत है। दुर्भाग्य से जो शाखा उनके पास कई वर्षों से थी वह अब टूट गई। इस तरह दफ्तरों को तोड़ना-फोड़ना सही नहीं है। राज्य में माहौल खराब करने की कोशिश हो रही है। जबकि जरूरी है कि आम लोगों की समस्याओं का समाधान हो।