मोनिका बेदी के फर्जी पासपोर्ट मामले में रिकॉर्ड तलब
मोनिका बेदी के फर्जी पासपोर्ट मामले में रिकॉर्ड तलब
डिजिटल डेस्क,जबलपुर। हाईकोर्ट ने भोपाल की निचली अदालत से मोनिका बेदी के फर्जी पासपोर्ट मामले का रिकॉर्ड तलब किया है। जस्टिस वीपीएस चौहान की एकल पीठ ने मामले की अगली सुनवाई 5 सितंबर को नियत की है।
फौजिया उस्मान के नाम से फर्जी पासपोर्ट बनवाया था
अभियोजन के अनुसार फिल्म अभिनेत्री मोनिका बेदी पर आरोप है कि उसने भोपाल से फौजिया उस्मान के नाम से फर्जी पासपोर्ट बनवाया था। वर्ष 2006 में भोपाल की निचली अदालत ने मोनिका बेदी को दोषमुक्त कर दिया था। सरकार ने इस आदेश के खिलाफ भोपाल की सेशन कोर्ट में अपील दायर की। सेशन कोर्ट ने भी निचली अदालत का फैसला बरकरार रखा। वर्ष 2007 में राज्य सरकार की ओर से हाईकोर्ट में पुनरीक्षण याचिका दायर की गई। वर्ष 2019 में मोनिका बेदी की ओर से सुप्रीम कोर्ट में आवेदन दायर कर कहा गया कि हाईकोर्ट में उसका प्रकरण 12 साल से विचाराधीन है। इसकी वजह से उसे स्थाई पासपोर्ट नहीं मिल पा रहा है।
फर्जी पासपोर्ट बनाने का कोई भी प्रमाण नहीं
सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में जल्द विचारण के निर्देश दिए थे। अधिवक्ता दिलजीत सिंह अहलूवालिया और अधिवक्ता अर्जुन सिंह ने तर्क दिया कि मोनिका बेदी के खिलाफ फर्जी पासपोर्ट बनाने का कोई भी प्रमाण नहीं है। भोपाल की निचली अदालत और सेशन कोर्ट उसे दोषमुक्त कर चुकी है। इसलिए सरकार की पुनरीक्षण याचिका निरस्त करने का योग्य है। एकल पीठ ने भोपाल की निचली अदालत से मोनिका बेदी के फर्जी पासपोर्ट मामले का रिकॉर्ड तलब करते हुए मामले की अगली सुनवाई 5 सितंबर को नियत की है।
20 दिन में अपील का निराकरण करने का निर्देश
रीवा निवासी प्रदीप मिश्रा की ओर से दायर याचिका में आरटीआई के तहत रीवा के टीआरएस कॉलेज में अतिथि विद्वानों की नियुक्ति संबंधी मसल पर हाईकोर्ट ने उच्च शिक्षा विभाग के अतिरिक्त संयुक्त संचालक को 20 दिन में अपील का निराकरण करने का निर्देश दिया। अधिवक्ता भूपेन्द्र कुमार शुक्ला ने तर्क दिया कि उच्च शिक्षा विभाग द्वारा हाईकोर्ट के आदेश भी अवहेलना की जा रही है। प्रांरभिक सुनवाई के बाद एकल पीठ ने नोटिस जारी कर अतिरिक्त संयुक्त संचालक एसयू खान से जवाब-तलब किया है।