सुप्रीम कोर्ट ने मांगी मदन महल पहाड़ियों से अतिक्रमण हटाने की पूर्ण अनुपालन रिपोर्ट
सुप्रीम कोर्ट ने मांगी मदन महल पहाड़ियों से अतिक्रमण हटाने की पूर्ण अनुपालन रिपोर्ट
डिजिटल डेस्क, जबलपुर। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस अरुण मिश्रा और जस्टिस एमआर शाह की खंडपीठ ने जबलपुर की मदन-महल पहाड़ियों से अतिक्रमण हटाए जाने की पूर्ण अनुपालन रिपोर्ट पेश करने का आदेश दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने वरिष्ठ अधिवक्ता आदर्शमुनि त्रिवेदी को कमिश्नर नियुक्त कर अतिक्रमण हटाए गए या नहीं, इस संबंध में चार सप्ताह में जांच और प्रमाणीकरण रिपोर्ट देने का आग्रह किया है। खंडपीठ ने कमिश्नर रिपोर्ट पेश करने के लिए 26 अगस्त की तिथि नियत की गई है।
सुप्रीम कोर्ट ने नोटिस जारी के बाद विशेष अनुमति याचिका खारिज कर दी
जबलपुर निवासी शांति बाई की ओर से मप्र हाईकोर्ट में मदन महल पहाड़ियों से अतिक्रमण हटाए जाने के खिलाफ याचिका दायर की गई थी। जस्टिस आरएस झा और जस्टिस संजय द्विवेदी की युगल पीठ ने 22 अक्टूबर 2018 को याचिका खारिज कर दी है। इसके खिलाफ शांति बाई की ओर से सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका दायर की गई। 31 अक्टूबर 2018 को सुप्रीम कोर्ट ने नोटिस जारी के बाद विशेष अनुमति याचिका खारिज कर दी। इसी विशेष अनुमति याचिका में एक विविध अपील दायर की गई। जिसमें सर्वोच्च न्यायालय ने आदेश के अनुपालन की जानकारी मांगी थी। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने 8 अप्रैल 2019 को आदेश दिया कि यदि आदेश का अनुपालन नहीं किया गया तो संबंधित जिला कलेक्टर को व्यक्तिगत रूप से सुप्रीम कोर्ट में हाजिर होना पड़ेगा।
वरिष्ठ अधिवक्ता आदर्शमुनि त्रिवेदी को कमिश्नर नियुक्त किया
इस आदेश के बाद मप्र शासन के स्थाई अधिवक्ता राहुल कौशिक ने गोरखपुर क्षेत्र की एसडीएम मनीषा वास्कले के शपथ-पत्र के साथ मदन महल पहाडिय़ों से अतिक्रमण हटाने का पालन-प्रतिवेदन फोटो के साथ पेश किया। पालन प्रतिवेदन देखने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने वरिष्ठ अधिवक्ता आदर्शमुनि त्रिवेदी को कमिश्नर नियुक्त कर इस आशय की रिपोर्ट पेश करने का आग्रह किया है कि मदन-महल पहाड़ियों से अतिक्रमण हटाए गए है या नहीं।