हाईकोर्ट: दुष्कर्म पीडि़त किशोरी को मिली गर्भपात की इजाजत
हाईकोर्ट: दुष्कर्म पीडि़त किशोरी को मिली गर्भपात की इजाजत
डिजिटल डेस्क जबलपुर। मप्र हाईकोर्ट के जस्टिस विशाल धगट की एकल पीठ ने एक दुष्कर्म पीडि़त नाबालिग किशोरी को गर्भपात की इजाजत दे दी है। एकल पीठ ने सीएमएचओ जबलपुर को निर्देश दिया है कि मेडिकल साइंस की गाइडलाइन का पालन करते हुए किशोरी के 28 सप्ताह के गर्भ को गिराने की कार्रवाई की जाए।
यह है मामला-
यह याचिका रांझी थाना क्षेत्र निवासी एक महिला की ओर से दायर की गई थी। याचिका में कहा गया कि 28 नवंबर 2020 को उसकी 15 वर्षीय बेटी घर पर अकेली थी। उनके एक परिचित ने अकेलेपन का फायदा उठाते हुए उसकी बेटी के साथ दुराचार किया और जान से मारने की धमकी दी। इसके बाद आरोपी ने दो बार और रेप किया।
शारीरिक परिवर्तन से हुआ खुलासा-
याचिका में कहा गया कि 18 मार्च 2021 को उसने देखा कि उसकी बेटी के शरीर में परिवर्तन हो रहा है। जब उसने कड़ाई से पूछताछ की तो बेटी ने घटना के बारे में जानकारी दी। जाँच कराने पर पता चला कि उसकी बेटी गर्भवती है। इसके बाद याचिका दायर की गई।
माँ बनने के लिए तैयार नहीं है किशोरी-
अधिवक्ता शारदा दुबे ने तर्क दिया कि किशोरी शारीरिक और मानसिक रूप से माँ बनने के लिए तैयार नहीं है। इसलिए किशोरी को गर्भपात की अनुमति दी जाए। एकल पीठ ने मेडिकल बोर्ड से किशोरी की जाँच कर रिपोर्ट पेश करने का आदेश दिया। रिपोर्ट में कहा गया कि किशोरी को 28 सप्ताह का गर्भ है। सावधानी पूर्वक किशोरी का गर्भपात कराया जा सकता है। मेडिकल रिपोर्ट देखने के बाद एकल पीठ ने किशोरी का गर्भपात कराने की इजाजत दे दी है।