लोकसभा: नंदुरबार में जल्द पासपोर्ट सेवा केंद्र शुरू करें, सांसद गावित ने उठाई मांग
- नंदुरबार में पासपोर्ट ऑफिस नहीं
- पासपोर्ट सेवा केंद्र जल्द शुरू करने की मांग
- सांसद गावित ने लोकसभा में उठाया मुंद्दा
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। नंदुरबार से सांसद डॉ हिना गावित ने शुक्रवार को लोकसभा में उनके संसदीय क्षेत्र में पोस्ट ऑफिस पासपोर्ट सेवा केंद्र (पीओपीएसके) के क्रियान्वयन में हो रही देरी को लेकर खेद जताया। उन्होंने कहा कि निर्धारित कार्यक्रम के मुताबिक इस केंद्र का 2023 में ही उद्घाटन होना था, लेकिन पीओपीएसके को चालू करने के लिए आवश्यक उपकरण उपलब्ध नहीं होने के कारण इसके कार्यान्वयन में देरी हो रही है। उन्होंने सरकार से मांग की है कि वह मामले में हस्तक्षेप कर आवश्यक कदम उठाए।
सांसद गावित ने लोकसभा में नियम 377 के तहत इस मुद्दे को उठाते हुए कहा कि नंदुरबार एक आदिवासी बहुल क्षेत्र है। यहां पोस्ट ऑफिस पासपोर्ट सेवा केंद्र नहीं होने की वजह से लोगों को पासपोर्ट के लिए अपॉइंटमेंट लेने के लिए धुले और नासिक जाना पड़ता है जो परेशानी का सबब बन रहा है। सरकार ने नंदुरबार संसदीय क्षेत्र में पीओपीएसके को शुरु कराने की मंजूरी प्रदान की है। इसके लिए जगह भी उपलब्ध कराई गई है, लेकिन इसे शुरू करने में हो रही देरी के लिए आवश्यक उपकरण उपलब्ध नहीं होने का कारण बताया जा रहा है। सरकार से आग्रह है कि वह मामले हस्तक्षेप करके यहां जल्द से जल्द पीओपीएसके शुरू करने के लिए आवश्कयक कदम उठाए जाए।
पासपोर्ट से जुड़ी काम की जानकारी
पासपोर्ट शिक्षा, तीर्थाटन, पर्यटन, व्यापार, चिकित्सा एवं अपने पारिवारिक सदस्यों से मिलने के उद्देश्य से विदेश आने-जाने वाले लोगों के लिए यात्रा के दौरान एक महत्वपूर्ण प्रलेख होता है। पिछले कुछ वर्षों में, बढ़ती अर्थव्यवस्था एवं भूमंडलीकरण के प्रसार की वजह से पासपोर्ट एवं संबंधित सेवाओं की मांग में वृद्धि हुई है। सेवाओं की इस बढ़ती मांग की पूर्ति के लिए विदेश मंत्रालय ने मई 2010 में पासपोर्ट सेवा परियोजना की शुरुआत की।
पासपोर्ट सेवा की मदद से पासपोर्ट और संबंधित सेवाओं के प्रदायगी की प्रक्रिया आसान एवं सरल हो गई एवं इसमें पारदर्शिता आई। इस परियोजना के तहत पासपोर्ट से संबंधित सरकारी अधिकारियों, आवेदकों के विवरणों के सत्यापन के लिए राज्य पुलिस एवं पासपोर्ट की प्रदायगी के लिए भारतीय डाक को एक नेटवर्क के अंतर्गत एक साथ जोड़ा गया ताकि देशभर में पासपोर्ट जारी करने के लिए इनके बीच एक समन्वय स्थापित किया जा सके।