भास्कर एक्सक्लूसिव: इंस्पेक्टर ने ब्रेक की जगह दबा दिया एक्सीलेटर, भीड़ पर चढ़ी गाड़ी और दो हुए घायल- मांगी रिपोर्ट
- अधिकारी ने जांच के दौरान ब्रेक की बजाय एक्सीलेटर दबाया था
- गोपनीय तरीके से घायलों का इलाज करवाया
- विभाग ने पुलिस में कोई रिपोर्ट नहीं लिखवाई
डिजिटल डेस्क, नागपुर। पूर्व आरटीओ में सोमवार को फिटनेस जांच प्रक्रिया के दौरान आरटीओ अधिकारी ने ब्रेक की बजाय एक्सीलेटर दबा दिया, जिससे पिकअप वैन अनियंत्रित हो गई और कुछ वाहनों को क्षति पहुंची। मंगलवार को आरटीओ अधिकारी की ओर से इस मामले की रिपोर्ट मांगी गई है। पूर्व आरटीओ में सोमवार की सुबह वाहनों की फिटनेस जांच चल रही थी। जांच असिस्टेंट इंस्पेक्टर चैताली आपुतिकर कर रही थीं। जांच के दौरान उन्होंने ब्रेक की जगह एक्सीलेटर पर पैर रख दिया, जिससे गाड़ी ने रफ्तार पकड़ ली और आस-पास खड़े वाहनों को टक्कर मारती हुई आगे बढ़ने लगी। एक स्कूल वैन क्षतिग्रस्त हो गई थी। दो मोटरसाइकिलें भी चपेट में आईं। हादसे में दो लोग घायल हुए। गनीमत रही कि किसी की जान नहीं गई, लेकिन हादसा गंभीर था। एक आरटीओ अधिकारी द्वारा इस तरह की गलती समझ से परे हैं। इस मामले की गंभीरता को देखते हुए मंगलवार को शहर के आरटीओ की ओर से इस संबंध में संबंधित अधिकारी से रिपोर्ट मांगी गई है।
रिपोर्ट देखने के बाद निर्णय
शहर कार्यालय के आरटीओ किरण बीडकर के मुताबिक हादसे की जानकारी मिलने के बाद संबंधित अधिकारी से इस बारे में रिपोर्ट मांगी है। रिपोर्ट देखने के बाद निर्णय लिया जाएगा।
पूर्व आरटीओ में एक सहायक इंस्पेक्टर ने वाहनों के फिटनेस चेक करने के दौरान ब्रेक की जगह एक्सीलेटर दबा दिया था, जिससे वाहन अनियंत्रित होकर भीड़ पर चढ़ गया और दो लोग घायल हो गए थे। विभाग में फिटनेस के लिए आए कई वाहन भी क्षतिग्रस्त हो गए थे। सोमवार दोपहर को हुई इस घटना को विभाग ने बड़ी गोपनीय तरीके से दबा दिया था। पुलिस को सूचना देना तो दूर वहां आस-पास जमा लोगों को धमकाया गया कि इसकी सूचना बाहर नहीं जाए। घायलों को समझाकर निजी अस्पताल में इलाज कराया गया था। जब इस मामले में दैनिक भास्कर ने विभाग के अधिकारियों से बात की तो शुरुआत में उन्होंने ऐसी किसी भी घटना से इनकार किया, हालांकि बाद में सबूत दिखाने पर इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि मामला संभाल लिया गया है।
बड़ा सवाल : जिन्हें वाहन चलाना नहीं आता, वह कैसे फिटनेस चेक कर रहे हैं
आरटीओ में सुबह से शाम तक फोर व्हीलर से लेकर ट्रकों तक की फिटनेस चेक होने के बाद उन्हें सार्टिफिकेट दिया जाता है। यह काम विभाग के इंस्पेक्टर व सहायक इंस्पेक्टर करते हैं। वे इस दौरान गाड़ी के ब्रेक, क्लच, गाड़ी से से निकलने वाला धुआं, मिरर व अन्य पार्ट की बारीकी से जांच कर उन्हें सार्टिफिकेट जारी करते हैं। ऐसे में जब जांच कर्ता अधिकारियों को ही वाहन चलाना नहीं आता, तो वह कैसे जांच कर रहे हैं, पूरी व्यवस्था ही सवालों के घेरे में है।
आस-पास खड़े लोगों को हिदायत
पूरे मामले में आस-पास खड़े लोगों और टेस्टिंग के लिए आए वाहन चालकों को अधिकारियों ने हिदायत दी कि कोई भी इस घटना को बाहर नहीं बताएगा। जिसका जो नुकसान हुआ है, उसकी भरपाई कर दी जाएगी।
स्कूल वैन के साथ परिसर में अन्य वाहनों को भी चपेट में लिया
सोमवार की सुबह नागपुर के पूर्व आरटीओ टेस्टिंग ट्रैक पर हड़कंप मच गया। यहां फिटनेस टेस्ट के लिए एक बुलेरो-पिकअप वैन आई थी। सहायक इंस्पेक्टर चैताली अकोटीकर ने फिटनेस टेस्ट के दौरान गाड़ी के ब्रेक की जगह एक्सीलेटर पर पैर रख दिया। गाड़ी अनियंत्रित होकर आस-पास की भीड़ को और परिसर में खड़े वाहनों को टक्कर मारती हुई आगे बढ़ी। सूत्रों के अनुसार, गाड़ी की रफ्तार इतनी तेज थी कि सामने खड़ी एक स्कूल वैन के दरवाजे को टक्कर लगने के बाद दरवाजा 10 फीट दूर जाकर गिरा था। सामने खड़ी दो बाइक को भी इस गाड़ी ने उड़ा दिया। इसके अलावा परिसर में रखा लकड़ी का स्टूल भी टुकड़े-टुकड़े हो गया। दो लोग जख्मी हुए हैं, जिनका गोपनीय तरीके से इलाज किया जा रहा है।
स्नेहा मेढे, डिप्टी आरटीओ, पूर्व आरटीओ विभाग ने बताया था कि फिटनेस टेस्ट के दौरान घटना हुई थी। गाड़ी की फिटनेस जांच के वक्त हैंडब्रेक लगाना भूल जाने से यह घटना हुई है, लेकिन कर्मचारी ने सिचुएशन को अच्छे से संभाल लिया था, जिसके कारण किसी को कोई बड़ी हानि नहीं हुई।