जबलपुर: माढ़ोताल की बदलेगी तस्वीर, हनुमानताल का बढ़ेगा लुक
- अच्छी पहल: दोनों तालाबों का होगा उन्नयन
- भूमिगत जल की वृद्धि में सहयोगी बनेंगे ये जल स्रोत
- करीब 55 एकड़ रकबे वाले इस तालाब का आधा से ज्यादा हिस्सा अब भी सुरक्षित है।
डिजिटल डेस्क,जबलपुर। संस्कारधानी कभी 52 तालाबों और 82 तलैयों के लिए ख्यात रही है। लापरवाही और अनदेखी के चलते धीरे-धीरे कई तालाबाें और तलैयों (छोटे तालाबों) का अस्तित्व ही मिट गया। शहर में अब चंद प्राकृतिक जल स्रोत ही शेष बचे हैं।
इन्हीं में शामिल ऐतिहासिक माढ़ोताल की तस्वीर अब बदलने वाली है। इसके उन्नयन और साैंदर्यीकरण के लिए कदम आगे बढ़ चुके हैं। इसके साथ ही प्राचीन हनुमानताल की भी तस्वीर निखारी जाएगी।
एक तरफ सौंदर्यीकरण के साथ इनमें वॉटर स्पोर्ट्स की व्यवस्था होगी, वहीं इन जल संरचनाओं को रिचार्ज करने के लिए भी पहल की जाएगी। इससे भूमिगत जल भी मेन्टेन हो सकेगा।
दीनदयाल चौक आईएसबीटी के समीप बने प्राचीन माढ़ोताल का अस्तित्व खतरे में था। इस पर न केवल अवैध कब्जे हो गए थे, बल्कि कुछ भू-माफिया ने तालाब के अंदर ही मकानों के निर्माण के लिए रोड तक डाल दी थी।
जन आंदोलन और लम्बी लड़ाई के बाद न्यायालय के हस्तक्षेप से इस तालाब को शासकीय मद में दर्ज किया गया। करीब 55 एकड़ रकबे वाले इस तालाब का आधा से ज्यादा हिस्सा अब भी सुरक्षित है।
तालाब सँवारने सीएम ने भी दी सहमति
उत्तर मध्य विधान सभा के विधायक डॉ. अभिलाष पाण्डे का कहना है कि माढ़ोताल व हनुमानताल को नए सिरे से सँवारा जाएगा। इसके लिए विधिवत प्लान तैयार किया जा रहा है। इसके अंतर्गत सौंदर्यीकरण के साथ ही यहाँ वॉटर स्पोर्ट्स प्रोग्राम, वॉकिंग फुटपाथ, आगंतुकों के लिए शेड जैसी सुविधाएँ भी प्रारंभ करने की तैयारियाँ की जा रही हैं।
बताया गया है कि सीएम डॉ. मोहन यादव ने भी इन दोनों तालाबों को सँवारने के लिए मदद का वादा किया है। हनुमानताल एवं माढ़ोताल तालाब के आसपास स्वच्छता बनाए रखने के लिए भी तैयारियाँ की जा रही हैं। हाल ही में माढ़ोताल तालाब की सफाई व गहरीकरण के लिए श्रमदान किया गया था।
इसमें बड़ी संख्या में क्षेत्रीय नागरिक शामिल हुए थे। क्षेत्रीय लोगों का कहना है कि तालाब के पास ही हाॅकर्स जोन बनाकर दीनदयाल चौक के आसपास की फुटपाथी दुकानों को यहाँ पर शिफ्ट किया जाना चाहिए।