Chhindwara News: जिला अस्पताल के हालात, पांच मंजिला इमारत में पेयजल संकट

  • जहां पानी वहां बजबजा रही गंदगी
  • वहीं कुछ मरीजों के परिजन खरीदकर पानी लाने मजबूर है।
  • पीने के पानी की एक बॉटल के लिए लोगों को पांच मंजिल नीचे उतरना पड़ता है।

Bhaskar Hindi
Update: 2024-09-19 10:47 GMT

Chhindwara News:  मेडिकल कॉलेज से संबद्ध जिला अस्पताल की पांच मंजिला इमारत के 28 वार्डों में पेयजल संकट छाया हुआ है। ग्राउंड फ्लोर में जहां पीने का पानी मिल भी रहा है वहां गंदगी बजबजा रही है। कहीं दूषित पानी के सेवन से मरीज के परिजन भी बीमार ना हो जाएं।

जिला अस्पताल के हालात यह हैं कि वार्ड के कॉरीडोर में लगे अधिकांश वॉटर कूलर व नलों में पानी नहीं आ रहा है। मजबूरी में मरीज के परिजनों को पीने का साफ पानी लेने ग्राउंड फ्लोर पर आना पड़ रहा है। प्रथम तल स्थित ओपीडी में रोजाना सैकड़ों मरीज प्राथमिक इलाज के लिए आते है, यहां लगे वॉटर कूलर से बूंद-बूंद पानी टपक रहा है। ऐसे में मरीज पानी के लिए यहां-वहां भटकते है।

एक बॉटल पानी के लिए पांच मंजिल का सफर-

पीने के पानी की एक बॉटल के लिए लोगों को पांच मंजिल नीचे उतरना पड़ता है। दयनीय स्थिति तो यह है कि लिफ्ट खराब होने से लोगों को सीढिय़ों से नीचे आना पड़ रहा है। तब कहीं उन्हें पीने योग्य पानी मिल पाता है।

घर से खरीदकर ला रहे पानी-

ऐसे पेशेंट जो शहरी क्षेत्र के है, उनके परिजन घर से पीने का पानी ला रहे है। वहीं कुछ मरीजों के परिजन खरीदकर पानी लाने मजबूर है। सबसे अधिक परेशानी दूरस्थ ग्रामीण अंचल से आने वाले मरीज व उनके परिजनों को हो रही है।

पानी के लिए भटक रहे परिजन

- जबलपुर निवासी मोहम्मद याकूब ने बताया कि साढूभाई भर्ती है। पांचवीं मंजिल से नीचे जाकर पीने का पानी लाना पड़ रहा है। कई बार ग्राउंड फ्लोर में भी साफ पानी नहीं मिल पाता। फोटो बीके 2265

- परासिया निवासी विजय नागले ने बताया कि उसकी चार वर्षीय बेटी चौथे माले स्थित शिशु वार्ड में भर्ती है। पीने योग्य पानी के लिए ग्राउंड फ्लोर पर आना पड़ रहा है।

क्या कहते हैं अधिकारी-

मरीज या उनके परिजनों के लिए हर वार्ड में पेयजल की बेहतर व्यवस्था बनाई जाएगी। ऐसे वॉटर कूलर जहां गंदगी है उसके आसपास सफाई कराई जाएगी।

- डॉ.नरेश गुन्नाडे, सीएस, जिला अस्पताल

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