छिंदवाड़ा: लावाघोघरी में मिली थी सिर कटी लाश, पुलिस ने किया खुलासा

  • कांट्रेक्ट किलिंग, सिर काटकर थैली में भरा, सुपारी देने वालों को दिखाने के बाद नदी में फेंका था
  • लावाघोघरी में मिली थी सिर कटी लाश, पुलिस ने किया खुलासा

Bhaskar Hindi
Update: 2024-01-06 11:27 GMT

डिजिटल डेस्क, छिंदवाड़ा। लावाघोघरी के भवारी के जंगल में ३० जुलाई २३ को एक सिर कटी लाश मिली थी। लम्बी जांच के बाद पुलिस ने अंधे हत्याकांड का खुलासा किया है। मामला जमीनी विवाद के चलते कांट्रेक्ट किलिंग का निकला। सुपारी लेने वाले हत्यारों ने युवक का गला और गुप्तांग काटकर अलग कर दिया था। कटा सिर थैली में भरकर आरोपी सुपारी देने वालों के पास पहुंचे और दिखाने के बाद सिर, बंका और बाइक कन्हान नदी में फेंक दी थी। इस हत्याकांड के पांच आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। एक आरोपी फरार है।

एएसपी अवधेश प्रताप सिंह ने बताया कि सिर कटी लाश की शिनाख्त मानिकलाल पिता देवमन शीलू के रूप में हुई थी। जांच के दौरान संदेही किशनू पिता झाडू भोसम, मनेशराम पिता लोचा शीलू और मुफतलाल पिता सोमजी शीलू से पूछताछ की गई। पूछताछ में सामने आया कि मानिकलाल का संदेहियों से जमीन खरीदने को लेकर विवाद था। मानिकलाल की हत्या के लिए तीनों ने रामलाल पिता गणेशा धुर्वे को ४० हजार रुपए की सुपारी दी थी। २७ जुलाई को मानिकलाल जब मजदूरों को लेकर दीप संगम गया था। रामलाल ने अपने दो साथी श्रीदास धुर्वे और ओमप्रकाश नर्रे के साथ मानिकलाल का पीछा किया और दीप संगम के जंगल में उसकी हत्या कर दी। हत्या के बाद आरोपियों ने मानिकलाल का सिर और गुप्तांग काटकर थैली में भरकर मृतक की बाइक से संगम दीप भवारी चौराहा पहुंचे थे।

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यहां पहले से मौजूद मनेश शीलू, किशनू शीलू और मुपतलाल शीलू को उन्होंने काम पूरा होने के साक्ष्य के रूप में कटा सिर दिया था। इसके बाद आरोपियों ने सिर, हत्या में इस्तेमाल बका और मृतक की बाइक कन्हान नदी में फेंक दी थी। पुलिस ने मनेश शीलू, किशनू शीलू, मुपतलाल शीलू, श्रीदास धुर्वे और ओमप्रकाश को गिरफ्तार कर लिया है। सुपारी लेने वाला आरोपी रामलाल अभी फरार है।

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- सिर काटने वालों को मिले महज २-२ हजार रुपए-

मनेश शीलू, किशनू शीलू, मुपतलाल शीलू ने मानिकलाल की हत्या के लिए रामलाल को ४० हजार रुपए की सुपारी दी थी। आरोपी रामलाल ने १० हजार रुपए एड्वांस लिए थे। इसमें से श्रीदास धुर्वे और ओमप्रकाश को महज दो-दो हजार रुपए दिए थे। वारदात वाली रात हत्या के साक्ष्य दिखाने के बाद रामलाल ने बाकी के ३० हजार रुपए ले लिए थे। इसके बाद से वह फरार है।

- सिर और बाइक अभी नहीं मिले-

हत्या के बाद आरोपियों ने मानिकलाल का सिर, बाइक और हथियार कन्हान नदी में फेंक दिया था। पुलिस ने आरोपियों से पूछताछ के बाद कन्हान नदी में लगभग १५ किमी तक सर्च कराया था। यहां हत्या में इस्तेमाल हथियार मिला है। सिर और बाइक की तलाश में एक बार फिर सर्चिंग की जाएगी।

तीन एकड़ जमीन के लिए विवाद-

पुलिस जांच में सामने आया कि मानिकलाल ने गांव के सालकराम से तीन एकड़ जमीन का सौंदा किया था। रुपए न दे पाने पर सालकराम ने मनेश और किशनू से जमीन का सौंदा कर लिया था। इसी बात को लेकर उनके बीच विवाद चल रहा था। बड़ी बात यह है कि अभी भी जमीन पर सालकराम का ही कब्जा है। जबकि इस जमीन के लिए एक युवक की हत्या जैसा जघन्य अपराध कर दिया गया।

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इस टीम ने किया अंधे हत्याकांड का खुलासा-

अंधे हत्याकांड का खुलासा करने वाली टीम में एसडीओपी मोहखेड़ प्रियंका पांडे, लावाघोघरी टीआई सीएस सरेयाम, सांवरी चौकी प्रभारी अनिल उईके, मोहखेड़ थाना प्रभारी महेन्द्र भगत, एएसआई बीएस रघुवंशी, गुणवंत पवार, प्रधान आरक्षक संदीप बेले, लवसिंह रघुवंशी, भरत चौरिया, आरक्षक पंकज भलावी, सुरेन्द्र, कल्याण, पूरन, प्रकाश, चांदनी, साइबर से नितिन ङ्क्षसह और आदित्य रघुवंशी शामिल है।

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