मोदी सरकार को लग सकता है झटका, दो केंद्रीय मंत्री दे सकते है इस्तीफा
डिजिटल डेस्क,नई दिल्ली। देश की 57 राज्यसभा सीटों पर दस जून को होने जा रहे चुनाव से मोदी सरकार पर असर पड़ सकता है। 15 राज्यों की 57 सीटों में इन दो केंद्रीय मंत्रियों की चर्चा जोरों पर है। जिनकी सदस्यता कुछ ही दिनों ने खत्म होने वाली है।
बीजेपी में अभी चार बड़े मुस्लिम नेता हैं। इनमें केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी, सैय्यद शहनवाज हुसैन, एमजे अकबर, जफर इस्लाम शामिल हैं। शहनवाज इस समय बिहार की नीतीश सरकार में मंत्री हैं। मुख्तार अब्बास नकवी केंद्रीय मंत्री हैं और एमजे अकबर और जफर इस्लाम राज्यसभा के सांसद। मुख्तार अब्बास नकवी के साथ-साथ एमजे अकबर और जफर इस्लाम का राज्यसभा कार्यकाल पूरा हो रहा है। तीनों को बीजेपी ने दोबारा प्रत्याशी नहीं बनाया है।
इनमेें सबसे प्रमुख नाम केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी और बिहार के जेडीयू नेता रामचंद्र प्रसाद सिंह यानी आरसीपी शामिल है। हालांकि आपको बता दें मोदी सरकार के दो और मंत्री पीयूष गोयल और निर्मला सीतारमण का नाम भी शामिल है लेकिन बीजेपी पार्टी ने उन्हें फिर से राज्यसभा भेजने का मन बना लिया है ,उन्हें इस बार भी उच्च सदन चुनाव का उम्मीदवार बनाया गया है। लेकिन मंत्री नकवी और आरसीपी के भविष्य का क्या होगा। यह राजनीति के भविष्य का सवाल है।
पीयूष गोयल और निर्मला सीतारमण को बीजेपी ने फिर से प्रत्याशी बनाया है, जबकि मुख्तार अब्बास नकवी को प्रत्याशी नहीं बनाया है। वहीं नीतीश कुमार की जेडीयू के कोटे से केंद्र सरकार में मंत्री आरसीपी सिंह को भी उनकी पार्टी से राज्यसभा नहीं भेजा जा रहा । अब मुख्तार अब्बास नकवी और आरसीपी सिंह का आगे क्या होगा? जिसका असर अगले 6 महीने के बाद से मोदी सरकार की कैबिनेट पर पड़ेगा?
मुख्तार अब्बास नकवी और आरसीपी सिंह अगले 6 महीने तक किसी भी सदन के सदस्य नहीं बने तो उन्हें मंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ सकता है। हालांकि दोनों के पास एक मौका ये है कि राष्ट्रपति राज्यसभा सदन का सदस्य मनोनीत कर सकते है या फिर यूपी में खाली दो लोकसभा सीटों पर होने वाले उपचुनाव में दोनों को उम्मीदवार बनाकर बीजेपी दांव खेल सकती है। रामपुर और आजमगढ़ लोकसभा सीट पर अधिकतर सपा का कब्जा रहा है जहां बीजेपी आजमगढ़ से जेडीयू नेता आरसीपी को उतार सकती है वहीं रामपुर से मुख्ताप अब्बास नकवी को। मुख्तार अब्बास नकवी 1998 में इस सीट से सांसद रह चुके हैं। 1999, 2009 में उन्हें इस सीट से हार का सामना करना पड़ा था। दूसरी तरफ बीजेपी अब्बास को संगठन में भी अहम जिम्मेदारी दे सकती है।
अभी भी मोदी मंत्रिमंडल में तीन मंत्री पद खाली है, ऐसे में अगर इन दो मंत्रियों का इस्तीफा होता है तब ऐसी स्थिति में मोदी कैबिनेट में फेरबदल होने की संभावना बढ़ जाएंगी। संभावना ये जतायी जा रही है कि ऐसे में बीजेपी चुनावों से पहले मोदी कैबिनेट में विस्तार कर इसका चुनावी फायदा लेना चाहेंगी।
Created On :   31 May 2022 8:52 AM GMT