बिहार : उप चुनाव में मिली हार से चिंतित भाजपा, बड़े बदलाव की तैयारी

Bihar: BJP worried about the defeat in the by-election, preparing for big changes
बिहार : उप चुनाव में मिली हार से चिंतित भाजपा, बड़े बदलाव की तैयारी
नई दिल्ली बिहार : उप चुनाव में मिली हार से चिंतित भाजपा, बड़े बदलाव की तैयारी
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डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। हाल ही में 4 राज्यों में हुए 5 उप चुनावों के नतीजों ने कई मायनों में भाजपा की परेशानी को बढ़ा दिया है। पार्टी को 5 सीटों पर हुए उप चुनाव में सभी सीटों पर हार का सामना करना पड़ा। लेकिन भाजपा को सबसे बड़ा झटका बिहार में लगा जहां वो गठबंधन सरकार का मजबूत हिस्सा है।

जिन 4 राज्यों में उप चुनाव हुए थे उनमें से तीन राज्य- पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़ और महाराष्ट्र में थे जहां भाजपा विपक्ष में है लेकिन चौथे राज्य बिहार में लंबे अरसे से पार्टी सत्ता में है बल्कि इस बार तो यही कहा जा रहा है कि मुख्यमंत्री भले ही नीतीश कुमार हों लेकिन संख्या बल के मामले में जेडीयू से बड़ी पार्टी होने का असर बिहार सरकार के कामकाज पर भी नजर आ रहा है। दूसरे शब्दों में कहा जाए तो इस बार भाजपा बिहार की सरकार चला रही है।

इस हालत में बिहार के बोचहां विधानसभा सीट पर हुए उप चुनाव में मिली हार भाजपा के लिए एक बड़ा झटका माना जा रहा है। यह झटका सरकार के साथ-साथ भाजपा संगठन के लिए भी बहुत बड़ा है क्योंकि इस सीट से एनडीए गठबंधन के उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ी बेबी कुमारी प्रदेश भाजपा की बड़ी पदाधिकारी (प्रदेश महासचिव) भी है।

आईएएनएस से बात करते हुए भाजपा के एक दिग्गज नेता ने बताया कि पार्टी संगठन की एक बड़ी नेता का चुनाव हारना और लंबे समय तक सरकार चलाने के बावजूद वोट प्रतिशत का घट जाना, पार्टी आलाकमान के लिए चिंता का सबब है और इसका असर आने वाले दिनों में संगठन पर निश्चित तौर पर पड़ना तय है। अब तक पार्टी के साथ मजबूती से खड़े रहने वाले उच्च जातियों खासकर भूमिहारों के आरजेडी के साथ जाने से भाजपा की चिंता और बढ़ गई है।

आपको बता दें कि, बिहार के वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल का कार्यकाल कुछ ही महीनों में पूरा होने जा रहा है। इस वजह से प्रदेश में शीघ्र ही संगठनात्मक चुनाव की भी प्रक्रिया शुरू होने जा रही है। यह बताया जा रहा कि पार्टी सैद्धान्तिक तौर पर बड़े बदलाव का फैसला कर चुकी है और अब कई विकल्पों पर विचार किया जा रहा है। पार्टी को यह तय करना है कि बिहार से जुड़े किसी बड़े कद्दावर राष्ट्रीय नेता को प्रदेश भाजपा की कमान सौंप कर पटना भेजा जाए या फिर प्रदेश स्तर पर किसी नेता को उभारने का प्रयास किया जाए। क्योंकि बिहार में लगातार प्रयोग कर रही भाजपा को अभी भी मजबूत चेहरे की तलाश है जिसके सहारे वो बिहार में वास्तविक तौर पर बड़े भाई की भूमिका में आ सके।

 

(आईएएनएस)

Created On :   19 April 2022 1:30 PM IST

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