Economic Survey : वित्तीय वर्ष 2020 - 21 में देश की GDP 6.5 % तक रहने का अनुमान

Economic Survey nirmala sitharaman GDP economic growth rate in upcoming financial year 2020 to 2021 General Budget
Economic Survey : वित्तीय वर्ष 2020 - 21 में देश की GDP 6.5 % तक रहने का अनुमान
Economic Survey : वित्तीय वर्ष 2020 - 21 में देश की GDP 6.5 % तक रहने का अनुमान
हाईलाइट
  • निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में इकोनॉमिक सर्वे पेश किया गया
  • सरकार इकोनॉमी मजबूत करने का प्रयास कर रही है: सीतारमण

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में शुक्रवार को वित्त वर्ष 2019 - 2020 का इकोनॉमिक सर्वे पेश किया। सर्वे रिपोर्ट के मुताबिक आगामी वित्त वर्ष 2020-21 में भारत की इकोनॉमिक ग्रोथ रेट 6 से 6.5 फीसदी रहने का अनुमान है। मौजूदा समय में देश की इकोनॉमिक ग्रोथ रेट 5 फीसदी है, जो बीते वित्त वर्ष के दौरान 6.8 फीसदी थी। हालांकि निर्मला सीतारमण ने बताया कि केन्द्र और राज्य सरकार इकोनॉमी को मजबूत करने की कोशिश कर रही है और जल्द ही इसमें सफलता मिलेगी।

ये भी पढ़ें : Budget 2020: नागरिकता संशोधन कानून बनाकर महात्मा गांधी का सपना पूरा हुआ- रामनाथ कोविंद

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की मुख्य बातें

  • 2025 तक देश में अच्‍छे वेतन वाली 4 करोड़ नौकरियां होंगी और 2030 तक इनकी संख्‍या 8 करोड़ हो जाएगी।
  • 2025 तक भारत को 5 ट्रिलियन डॉलर की इकोनॉमी बनाने के लिए जरूरी मूल्‍य संवर्धन में नेटवर्क उत्‍पादों का निर्यात एक तिहाई की वृद्धि की जाएगी।
  • भारत की GDP 2019-20 की पहली छह माही में 4.8 प्रतिशत रही। इसका कारण कमजोर वैश्विक विनिर्माण, व्यापार और मांग है।
  • कृषि और सम्बन्धित गतिविधि, लोक प्रशासन, रक्षा और अन्य सेवाओं में 2019-20 की पहली छह माही में वृद्धि 2018-19 की दूसरी छह माही से अधिक थी।
  • चालू खाता घाटा कम होकर 2019-20 की पहली छह माही में GDP का 1.5 प्रतिशत रह गया। जबकि 2018-19 में यह 2.1 प्रतिशत था।
  • वास्तविक उपभोग वृद्धि दूसरी तिमाही में बेहतर हुई है। इसका कारण सरकारी खपत में वृद्धि होना है।
  • चालू खाता घाटा कम होकर 2019-20 की पहली छह माही में GDP का 1.5 प्रतिशत रह गया। जबकि 2018-19 में यह 2.1 प्रतिशत था।
  • 2019-20 की पहली छह माही में 3.3 प्रतिशत से बढ़कर दिसम्बर में 7.35 प्रतिशत हो गई।
  • 2019-20 की पहली छह माही में निर्यात की तुलना में आयात में कमी आई।
  • निवेश खपत और निर्यात को बढ़ावा देने के लिए 2019-20 के दौरान निम्न सुधार किए गए।
  • राज्यों का वित्तीय घाटा FRBM अधिनियम द्वारा निर्धारित लक्ष्यों के दायरे में है।
  • विदेशी प्रत्यक्ष निवेश (FDI) बेहतर होने के साथ साथ विदेशी मुद्रा भण्डार और पोर्टफॉलियो प्रवाह मजबूत हुआ।
  • महंगाई दर में साल 2020 के अंत तक कमी आएगी।
  • अप्रैल 2019 मेंदेश की मुद्रास्फीति 3.2% थी, जो दिसंबर 2019 में तेजी से घटकर 2.6% हो गई।
  • दुनिया के लिए भारत में एसेम्‍बल इन इंडिया और मेक इन इंडिया योजना को एक साथ मिलाने से निर्यात बाजार में भारत की हिस्‍सेदारी 2025 तक 3.5 प्रतिशत और 2030 तक 6 प्रतिशत बढ़ेगी।

Created On :   31 Jan 2020 2:50 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story