Satna News: बेटे के गम में भी पिता नहीं भूला कर्तव्य, किया अजगर का रेस्क्यू
- हौसले और साहस की मिसाल मिलना मुश्किल है
- प्रकृति के प्रति जिम्मेदारी से पीछे नहीं हटे
- कक्ष क्रमांक पी-476 में सुरक्षित छुड़वाने में मदद की
Satna News: जवान बेटे का जनाजा लेकर कब्रिस्तान पहुंचे सर्प मित्र गफ्फार खान के हौसले और साहस की मिसाल मिलना मुश्किल है। विपरीत हालातों में भी वेे कब्रों के बीच विशालकाय अजगर को देखा तो समाज और प्रकृति के प्रति जिम्मेदारी से पीछे नहीं हटे।
गफ्फार ने जिगर के टुकड़े को सुपुर्दे खाक करने से पहले अजगर का रेस्क्यू उस समय किया जब अजगर बकरी के बच्चे को निगल रहा था, मगर जांबाज सर्प मित्र ने कदम पीछे नहीं हटाए। उन्होंने अजगर का रेस्क्यू कर वन विभाग के हवाले करने के बाद दिवंगत बेटे की अंतिम क्रियाएं पूरी कीं। गफ्फार का यह जज्बा देखकर मिट्टी देने गया हर शख्स स्तब्ध हो गए।
शाम साढ़े 5 बजे की घटना
मैहर रेंजर सतीश चंद्र मिश्रा के अनुसार सर्प मित्र गफ्फार का छोटा पुत्र अलफाज खान 19 वर्ष पीपीटी में एडमिशन लेने के लिए 6 नवंबर को इंटरसिटी से जबलपुर रवाना हुआ। गोसलपुर के पास धक्का लगने से वह ट्रेन के नीचे गिर गया और मौके पर ही मौत हो गई। 8 नवंबर को सूचना मिलने पर जब परिजन गोसलपुर पहुंचे तब मृतक का पोस्टमार्टम कराया गया। 9 नवंबर की शाम साढ़े 5 बजे जब गफ्फार खान बेटे का जनाजा लेकर कब्रिस्तान पहुंचे तो वहां उन्होंने साढ़े 8 फीट के अजगर को बकरी का बच्चा निगलते हुए देखा और तुरंत उन्होंने गंभीर हालातों के बीच अजगर का रेस्क्यू किया। अजगर को कल्याणपुर की बीट के कक्ष क्रमांक पी-476 में सुरक्षित छुड़वाने में मदद की।