महाराष्ट्र: बंबई हाईकोर्ट ने महिला पत्रकार के खिलाफ जातीय टिप्पणी करने वाले शिवसेना नेता को गिरफ्तारी पूर्व दी जमानत

  • ठाणे जिले के बदलापुर में दो नाबालिग बच्चियों के साथ हुई दुष्कर्म घटना
  • घटना के खिलाफ हो रहे प्रदर्शन को कवर कर रही थी महिला पत्रकार
  • महाराष्ट्र सीएम एकनाथ शिंदे की पार्टी से जुड़े म्हात्रे

Bhaskar Hindi
Update: 2024-10-07 13:41 GMT

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बंबई हाईकोर्ट ने सोमवार को गिरफ्तारी से पहले शिवसेना नेता वामन म्हात्रे को जमानत दे दी। पीटीआई भाषा से मिली जानकारी के अनुसार बंबई हाईकोर्ट ने ये जमानत अगस्त महीने में ठाणे जिले के बदलापुर में दो नाबालिग बच्चियों के साथ हुई दुष्कर्म घटना के खिलाफ प्रदर्शन की रिपोर्टिंग कर रही एक पत्रकार के खिलाफ अपमानजनक बयान देने के आरोप में दी है। 

हाईकोर्ट के जमानती आदेश के बाद शिवसेना नेता वामन म्हात्रे गिरफ्तारी से बच गए।  आपको बता दें शिवनेसा नेता ने जिस महिला पत्रकार के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी वह आरक्षित समाज की बेटी थी। महिला पत्रकार ने शिवसेना नेता वामन म्हात्रे के खिलाफ एसएसी एसटी धाराओं में मामला दर्ज करवाया था। मामले में शिवसेना नेता की गिरफ्तारी होनी चाहिए। लेकिन जस्टिस संदीप मार्ने की सिंगल बेंच ने मामले की सुनवाई करते हुए कहा कि इस मामले में प्रथम दृष्टया एससी एसटी(अत्याचार रोकथाम) अधिनियम के प्रावधान लागू नहीं होते क्योंकि म्हात्रे को शिकायतकर्ता की जाति की जानकारी नहीं थी या उनका मकसद जाति के खिलाफ टिप्पणी करने का नहीं था। शिवसेना नेता को पत्रकार की जाति का पता नहीं था। कोर्ट का कहना है कि म्हात्रे को इसकी जानकारी नहीं थी कि महिला पत्रकार अनुसूचित जाति से आती हैं।

आपको बता दें महिला पत्रकार ने म्हात्रे पर भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) और एससी/एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज करवाया था।  उन पर महिला पत्रकार के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी और इशारे करने का आरोप है। महाराष्ट्र सीएम एकनाथ शिंदे की पार्टी से जुड़े म्हात्रे ने कल्याण सेशन कोर्ट के 29 अगस्त के आदेश को चुनौती देते हुए हाईकोर्ट में अपील की थी । इससे पहले निचली अदालत ने उन्हें जमानत देने से मना कर दिया था।  

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