Tokyo Olympics 2020: हॉकी में पदक की उम्मीद अभी भी कायम, क्या सिंधु की तरह कमाल दिखा पाएगी भारतीय हॉकी टीम
Tokyo Olympics 2020: हॉकी में पदक की उम्मीद अभी भी कायम, क्या सिंधु की तरह कमाल दिखा पाएगी भारतीय हॉकी टीम
- कांस्य पदक के लिए खेलेगी टीम इंडिया
- क्वार्टर फाइनल में भारत ने ग्रेट ब्रिटेन को 3-1 से हराकर सेमीफाइनल में जगह बनाई थी
- भारत ने आखिरी बार मास्को ओलंपिक में स्वर्ण पदक जीता था
डिजिटल डेस्क, टोक्यो। भारतीय पुरुष हॉकी टीम अंतिम 11 मिनट के अंदर तीन गोल गंवाने के कारण टोक्यो ओलंपिक खेलों के सेमीफाइनल में विश्व चैम्पियन बेल्जियम से 2-5 से हार गई। भारतीय टीम 49 साल बाद ओलंपिक के सेमीफाइनल में पहुंची थी और अब वह ऑस्ट्रेलिया और जर्मनी के बीच होने वाले दूसरे सेमीफाइनल में हारने वाली टीम से कांस्य पदक के लिए गुरुवार को भिड़ेगी।
भारत की तरफ से हरमनप्रीत सिंह (7वें) और मनदीप सिंह (9वें मिनट) ने गोल किए, जबकि बेल्जियम के लिए अलेक्सांद्र हेंड्रिक्स (19वें, 49वें और 53वें मिनट) ने तीन, जबकि लोइक फैनी लयपर्ट (दूसरे मिनट) और जॉन जॉन डोहमेन (60वें मिनट) ने एक गोल दागा।
भारत 41 सालों से हॉकी में पदक का इंतजार कर रहा है ,भारत ने आखिरी बार मास्को ओलंपिक में स्वर्ण पदक जीता था। वह म्यूनिख ओलंपिक 1972 के बाद पहली बार टोक्यो ओलंपिक के सेमीफाइनल में पहुंचा था। मॉस्को ओलंपिक में मैच राउंड रोबिन आधार पर खेले गए थे।
भारत का सफर
ग्रुप-ए में भारत को गत चैम्पियन अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया, जापान, न्यूजीलैंड और स्पेन के साथ रखा गया थ। वहीं ग्रुप-बी में बेल्जियम, कनाडा,जर्मनी, ब्रिटेन, नीदरलैंड और दक्षिण अफ्रीका की टीमें थीं। सभी टीमें एक-दूसरे से खेलीं और दोनों ग्रुप से शीर्ष चार टीमें सेमीफाइनल में पहुंची। भारत चार जीत और एक हार के साथ अपने ग्रुप में दूसरे नंबर पर रहकर क्वार्टर फाइनल में पहुंचा था। फिर क्वार्टर फाइनल में भारत ने ग्रेट ब्रिटेन को 3-1 से हराकर सेमीफाइनल में जगह बनाई थी।