बुरहानपुर से नेहरू-गांधी परिवार का पुराना नाता, मोमबत्ती की रोशनी में इंदिरा ने की थी सभा, राजीव सोनिया ने बदला था चुनावी इतिहास, अब चौथी पीढ़ी में क्या कमाल दिखाएंगे राहुल गांधी?
भारत जोड़ो यात्रा बुरहानपुर से नेहरू-गांधी परिवार का पुराना नाता, मोमबत्ती की रोशनी में इंदिरा ने की थी सभा, राजीव सोनिया ने बदला था चुनावी इतिहास, अब चौथी पीढ़ी में क्या कमाल दिखाएंगे राहुल गांधी?
डिजिटल डेस्क: बुरहानपुर। राहुल, गांधी परिवार के चौथे शख्स हैं, जो बुरहानपुर आ रहे हैं। नेहरु गांधी परिवार का बुरहानपुर से बहुत पुराना संबंध है। कांग्रेस के इतिहास की सबसे बड़ी यात्रा, भारत जोड़ो यात्रा की मध्यप्रदेश में आज (बुधवार) एंट्री हुई है। यात्रा की शुरुवात कांग्रेस का मप्र में पहली पसंद माने जाने वाले बुरहानपुर जिले से की गई है। भारत जोड़ो यात्रा का आज 77वां दिन है और मध्यप्रदेश में यात्रा का आज पहला दिन है। राहुल गांधी के यहां आने से पहले गांधी परिवार की तकरीबन हर पीढ़ी बुरहानपुर आ चुकी है। जानिए कब कौन कौन और क्यों यहां आया...
नेहरू ने शुरु की परम्परा
भारत के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरु ने सबसे पहले बुरहानपुर का दौरा किया था। 26 अप्रैल 1956 को पंडित नेहरू वर्तमान बुरहानपुर के नेपानगर में आए थे। यह मिल नेपानगर में होने के कारण इसका नाम नेपा मिल रखा गया। हालांकि, उस समय बुरहानपुर खंडवा जिले में आता था, लेकिन अब बुरहानपुर स्वत: एक जिला बन चुका है। पं. नेहरू ने यहां नेपा मिल को राष्ट्र को समर्पित करने के लिए आए थे। आपको बता दें कि, यह मिल आज भी कार्यरत है। हाल में ही इसका करोड़ों रुपये की लागत से दोबारा जीर्णोद्धार किया गया है। नेपा मिल अखबारी कागज का निर्माण करती है।
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टॉर्च की रोशनी से रात 2 बजे आई इंदिरा
आज से 41 साल पहले भारत की पहली महिला प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी बुरहानपुर आई थीं और यहां तीन दिनों तक रुकी भी थीं। आपको बता दें कि खास बात यह है कि, जिस बोदरली गांव से राहुल गांधी अपनी भारत जोड़ो यात्रा का मप्र मे शुभारंभ कर रहे हैं, उसी बोदरली गांव में उनकी दादी इंदिरा गांधी ने रात दो बजे टॉर्च की रोशनी में चुनावी सभा को संबोधित किया था। यह घटना सन् 1980 की है। जब पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी लोकसभा चुनाव के दौरान बुरहानपुर पहुंची थीं। वे यहां पूर्व सांसद ठाकुर शिव कुमार सिंह के चुनाव प्रचार के लिए आई थीं। इस दौरान तीन दिन तक बुरहानपुर और नेपानगर में प्रचार करती रहीं। उन्हें देखने और सुनने लाखों की संख्या में लोग सड़कों पर खड़े थे। इस चुनाव में उस समय सांसद के उम्मीदवार ठाकुर शिव कुमार सिंह ने बीजेपी के वरिष्ठ नेता कुशाभाऊ ठाकरे को हराया था।
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राजीव और सोनिया भी पहुंचे थे बुरहानपुर
गांधी परिवार की वर्तमान मुखिया और कांग्रेस की पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी भी बुरहानपुर आ चुकी हैं। वह तत्कालीन सांसद ठाकुर शिव कुमार सिंह की प्रतिमा का अनावरण करने के लिए साल 2000 में बुरहानपुर की शुगर फैक्ट्री पहुंची थीं। झिरी में स्थित इस शुगर फैक्ट्री में उन्होंने प्रतिमा का अनावरण और फैक्ट्री का भ्रमण किया था। कई सालों पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी और सोनिया गांधी खंडवा में कांग्रेस को मजबूत करने के लिए सभा संबोधित करने पहुंचे थे। उस समय सोनिया गांधी के पास पद नहीं था। वे केवल राजीव गांधी के साथ सभाओं में शरिक हुआ करती थीं।
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इतिहास दौहराने आई राहुल संग प्रियंका
राहुल गांधी नेहरू-गांधी परिवार के चौथे शख्स हैं, जो बुरहानपुर आए हैं। 41 साल पहले साल 1980 के चुनावी सभा को संबोधित करने के लिए इंदिरा गांधी बुरहानपुर आई थीं। तब भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ट नेत कुशाभाऊ ठाकरे को कांग्रेस प्रत्याशी ठाकुर शिव कुमार सिंह ने हारा दिय था। राहुल अपनी इस यात्रा के माध्यम से इतिहास को दौहराना चाहते हैं। वह प्रदेश के 2023 में होने वाले विधानसभा चुनाव में अपनी इस यात्रा से कांग्रेस के पक्ष में वोट लाने की कोशिश कर रहे हैं, जैसे उनकी दादी ने की थी। राहुल की इस यात्रा में आज से अगले 3 दिन तक प्रियंका गांधी भी राहुल के साथ कदम से कदम मिलाकर चलेंगी।