कल्प बृक्ष के पके हुए फल के समान है श्रीमदभागवत कथा: शास्त्री जी
पवई कल्प बृक्ष के पके हुए फल के समान है श्रीमदभागवत कथा: शास्त्री जी
डिजिटल डेस्क, पवई .। नगर के मानस कालोनी वार्ड क्रमांक ०8 निवासी स्वर्गीय रामेश्वर प्रसाद पटेल वरिष्ठ अधिवक्ता के निवास पर चल रही श्रीमदभागवत कथा में बुधवार को कथा व्यास पंडित रमेश प्रसाद शास्त्री ने कथा का वर्णन करते हुए बताया कि श्रीमदभागवत कथा को परमहंस शुकदेव जी के मुख का अमृत कहा जाता है जब तक यह मानव शरीर है इसका श्रवण पान करते रहना चाहिए यह एक कल्प बृक्ष के पके हुए फल के समान है। इसके साथ ही महाराज परीक्षित जी के श्राप का वर्णन, ब्रम्हा की सृष्टि के क्रम में वाराह अवतार हिरण्याक्ष वध, जय विजय को सनत कुमार का श्राप, मनु सतरूपा सहित अन्य प्रसंग की कथा का वर्णन किया गया। इस कथा का श्रवण श्रीमती कस्तूरी बाई पटेल द्वारा किया जा रहा है तथा इस कथा का आयोजन आशीष पटेल, शिक्षक मनीष पटेल, अधिवक्ता सतीश पटेल पत्रकार, अवनीश पटेल सीए सहित पटेल परिवार द्वारा किया जा रहा है।