कमलनाथ ने लगाया अफवाहों पर पूर्ण विराम... कहा नकुलनाथ कांग्रेस से लोकसभा उम्मीदवार होंगे
ऑल इंडिया कांग्रेस कमेटी का फैसला होगा मान्य
डिजिटल डेस्क छिंदवाड़ा। खुद के भाजपा में जाने की अटकलों पर पूर्व मुख्यमंत्री व कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कमलनाथ ने मंगलवार को एक तरह से पूर्ण विराम लगा दिया है। उन्होंने कहा कि तरह-तरह की अफवाहें उड़ीं, लेकिन अब शुरूआत हो गई, कांग्रेस पार्टी ने अगले लोकसभा चुनाव की तैयारियां शुरू कर दी हैं। पार्टी जैसा हमेशा लोकसभा चुनाव की तैयारी करती है। वैसा इस दफा भी करेगी। श्री नाथ ने कहा कि जैसे ही एआईसीसी (ऑल इंडिया कांग्रेस कमेटी) घोषित करती है तो नकुलनाथ यहां से लोकसभा के उम्मीदवार होंगे। अपने चार दिनी छिंदवाड़ा प्रवास से लौटते वक्त मंगलवार सुबह इमलीखेड़ा हवाई पट्टी पर मीडिया से चर्चा में श्री नाथ ने यह बातें कहीं। यह अफवाहें क्यों चली, इस सवाल पर श्री नाथ ने कहा कि यह मीडिया ने चलाई। अफवाहों को लेकर उन्होंने यह भी कहा कि मैंने तो 5 दिसंबर को अपना इस्तीफा दे दिया था। मुझे कहा गया इसे 4-5 दिन आऊट नहीं करना, मैंने नहीं किया। मुझसे पूछा गया कि किसको अध्यक्ष बनाना है, मैंने कहा इन जातियों में से बना लो, वैसा ही हुआ। गौरतलब है कि विधानसभा चुनाव के नतीजों और पीसीसी में नए अध्यक्ष की नियुक्ति के बाद से लगातार पूर्व सीएम कमलनाथ के भाजपा में जाने के कयास लग रहे थे। भोपाल में मुख्यमंत्री व भाजपा के अन्य वरिष्ठ नेताओं के उनके निवास पर जाकर मिलने से कयासों को और बल मिल गया था। वहीं 3 फरवरी को छिंदवाड़ा पहुंचे कमलनाथ ने खुद के भाजपा में जाने को अफवाहें करार दिया था, लेकिन आचार्य प्रमोद कृष्णन को लेकर पूछे गए सवाल पर उन्होंने कह दिया था कि सब स्वतंत्र हैं, कोई किसी पार्टी से बंधा हुआ नहीं है। श्री नाथ के इस बयान से भी संशय की स्थिति बनी हुई थी। पूर्व सीएम श्री नाथ ने मंगलवार को एआईसीसी के प्रवक्ता के उनको लेकर दिए बयान का भी जवाब दिया। कहा कि उसका खंडन किया गया, पार्टी ने उन्हें शोकॉज नोटिस दिया। चुनाव प्रचार को लेकर सवाल पर कहा कि मैं प्रचार करूंगा जैसा हमेशा करता हूं।
चार दिन में सबसे मिले नकुल-कमलनाथ:
चार दिवसीय प्रवास के दौरान पूर्व सीएम कमलनाथ व सांसद नकुलनाथ ने कोर कमेटी के सदस्यों, वरिष्ठ नेताओं, विधायकों के अलावा सभी ब्लॉक अध्यक्षों, प्रभारियों और पर्यवेक्षकों से अलग-अलग बैठकों में चर्चाएं की। वे नेताओं से व्यक्तिगत भी मिले। साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में आदिवासी सम्मेलनों सहित अन्य कार्यक्रमों में हिस्सा लिया। अटकलों के मुताबिक माना जा रहा था कि वे थाह ले रहे हैं।