मानवीय रुचि: मध्य प्रदेश के जबलपुर में राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत 15 दिन के नवजात की सफल सर्जरी, मिला नया जीवन

मध्य प्रदेश के जबलपुर में राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत 15 दिन के नवजात की सफल सर्जरी, मिला नया जीवन
मध्य प्रदेश के जबलपुर जिले में राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम (आरबीएसके) के तहत 15 दिन के एक नवजात बच्चे की सफल सर्जरी कर उसे नया जीवन दिया गया। यह सर्जरी मुंबई में हुई, और इसके लिए जिला प्रशासन की सजगता के कारण बच्चे को केंद्र सरकार की योजना का लाभ मिला।

जबलपुर, 28 अप्रैल (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश के जबलपुर जिले में राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम (आरबीएसके) के तहत 15 दिन के एक नवजात बच्चे की सफल सर्जरी कर उसे नया जीवन दिया गया। यह सर्जरी मुंबई में हुई, और इसके लिए जिला प्रशासन की सजगता के कारण बच्चे को केंद्र सरकार की योजना का लाभ मिला।

आरबीएसके के प्रोग्राम मैनेजर सुभाष शुक्ला ने इस सफल इलाज के बारे में जानकारी दी। उन्होंने सोमवार को समाचार एजेंसी आईएएनएस से कहा कि नवजात बच्चा विनायक पटेल पिछले सप्ताह जबलपुर जिला अस्पताल में भर्ती हुआ था। बच्चे की स्थिति गंभीर थी, और तत्काल उपचार की आवश्यकता थी। स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मिलकर एक सर्जरी के लिए तुरंत स्वीकृति दी, और रविवार को बच्चे को मुंबई भेजा गया। वहां तीन दिन के भीतर एक विशेष बलून करेक्शन सर्जरी की गई, जो बच्चे की रक्तवाहिनियों को सही करती है। शुक्ला ने बताया कि यह सर्जरी सफल रही और बच्चा अब पूरी तरह से स्वस्थ हो गया है।

उन्होंने कहा कि इस सर्जरी के बाद, छह महीने के भीतर उसे एक और सर्जरी की जरूरत होगी, जिससे उसकी हृदय संबंधी समस्याएं पूरी तरह से ठीक हो सकेंगी। शुक्ला ने इस अवसर पर जिले और राज्य स्तर के अधिकारियों की सराहना की, जिन्होंने इस कार्यक्रम को सफल बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उन्होंने मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री, स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों, डॉक्टरों और शेष टीम का धन्यवाद किया, जिन्होंने इस कार्यक्रम के तहत बच्चों को समय पर इलाज मुहैया कराया।

शुक्ला ने कहा कि राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम केंद्र सरकार द्वारा संचालित एक योजना है, जो जन्मजात विकृतियों का इलाज करती है। इस योजना के तहत बच्चों को गंभीर समस्याओं जैसे हृदय रोग, सुनने या बोलने में कमी जैसी जन्मजात विकृतियों का इलाज प्रदान किया जाता है। उन्होंने बताया कि कार्यक्रम के तहत जिले में एक डायग्नोस्टिक ऑफिस और प्रत्येक ब्लॉक में डॉक्टरों और एनएम की टीम तैनात है, जो स्कूलों और आंगनवाड़ी केंद्रों का दौरा कर बच्चों को चिह्नित करते हैं और उन्हें इलाज के लिए अस्पताल भेजते हैं।

बच्चे की मौसी शालिनी पटेल ने बताया कि विनायक का इलाज परिवार की उम्मीद से भी बेहतर हुआ है। उन्होंने कहा, "मैं विशेष रूप से डॉक्टर सुभाष शुक्ला का आभार व्यक्त करना चाहती हूं, क्योंकि उनके प्रयासों के कारण ही यह सब संभव हो पाया। आज मेरा बच्चा पूरी तरह से स्वस्थ है, उसकी सांसें मजबूत हैं और वह अच्छे से जीवन जी रहा है।"

उन्होंने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री मोहन यादव, स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख संदीप यादव की पूरी टीम को धन्यवाद दिया और उम्मीद जताई कि आगे का इलाज भी शानदार होगा।

शालिनी ने बताया कि जबलपुर से मुंबई पहुंचने में उन्हें कोई कठिनाई नहीं हुई, क्योंकि सभी व्यवस्थाएं पहले ही वहां से की जा चुकी थीं। उन्होंने कहा, "जैसे ही हम मुंबई पहुंचे, सब कुछ व्यवस्थित था और हमें किसी भी प्रकार की परेशानी का सामना नहीं करना पड़ा। उपचार बेहद अच्छा हुआ।"

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Created On :   28 April 2025 8:25 PM IST

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