- Home
- /
- राज्य
- /
- महाराष्ट्र
- /
- खामगाँव
- /
- हत्याकांड के तीनों आरोपी...
हत्याकांड के तीनों आरोपी पिता-पुत्रों को उम्रकैद की सजा

डिजिटल डेस्क, खामगांव। बंजर खेत में बकरी जाने के कारण पर हुए विवाद में एक महिला को कुल्हाडी मारकर उसकी हत्या करने मामले में आरोपी तीनों पिता–पुत्रों को उम्रकैद की सजा सुनाई गई। यह फैसला शुक्रवार, १३ मई को यहां के जिला एवं सत्र न्यायालय के क्र १ के न्यायाधीश सौ. प्रज्ञा एस. काले ने दिया है।प्राप्त जानकारी के अनुसार, कोक्ता तहसील खामगांव की गजाबाई आत्माराम डोलारे (५५) एवं आत्माराम डोलारे यह पति-पत्नी १४ अगस्त २०१७ को गांव समीप ड्रीमलैंड सिटी परिसर में अपनी बकरियों को चराने के लिए लेकर गए थे। इन बकरियों में से एक बकरी बंजर खेत में जाने के कारण पर वासुदेव पांडूरंग सावरकर (२१) ने इन पति–पत्नी के साथ विवाद कर मारपीट की थी। जिस कारण परस्पर शिकायत पर जलंब पुलिस ने डोलारे एवं सावरकर के खिलाफ अपराध दर्ज किया था। इस विवाद कारण १९ अगस्त को आत्माराम डोलारे यह बकरियां अपनी बेटी के पास भेजने के लिए उसे पुछने के लिए उसके गांव गए थे। तो गजाबाई डोलारे यह सुबह साढ़े ११ बजे गांव समीप लोकेश सोनी के ले आऊट में बकरिया चराने के लिए गई थी। इस मौके का लाभ उठाते आरोपी वासुदेव पांडूरंग सावरकर एवं महादेव पांडूरंग सावरकर, पिता पांडूरंग उखर्डा सावरकर ने मिलकर उस ले-आऊट में गए। पांडूरंग एवं महादेव ने हाथ पकड़कर वासुदेव ने कुल्हाडी से गजाबाई पर वार किए। जिसमें गजाबाई की घटनास्थल पर ही मौत हो गई थी। इस बारे में अनिल आत्माराम डोलारे की शिकायत पर जंबल पुलिस ने आरोपी वासुदेव उसके पिता पांडूरंग एवं भाई महादेव के खिलाफ धारा ३०२, ३४ तहत अपराध दर्ज किया था। मामले की जांच पुरी कर मामला न्याय प्रविष्ठ किया गया। जिसमें १२ गवाहों के बयान दर्ज किए गए। प्रत्यक्षदर्शी विनोद धनोकार, कैलास धनके, सहदेव कलसकार एवं गणेश ताठे के बयान महत्व के ठहरे। जिसमें तीनों आरोपियों को उम्रकैद की सजा एवं प्रति २० हजार रूपए का जुर्माना व जुर्माने की राशी में से ५० हजार रूपए शिकायतकर्ता को देने के आदेश भी इस निर्णय में दिए गए हैं। इस मामले में सरकार पक्ष व्दारा अतिरिक्त शासकीय अधिवक्ता रजनी बावस्कर, भालेराव ने काम देखा। घटना की जांच जलंब पुलिस थाने के तत्कालीन एपीआय एस. आर. निचल ने की। तो कोर्ट पैरवी के तौर पर पीएसआई बेग एवं कोर्ट मोरर के तौर पर महिला पुकां पित्रलेखा शिंदे ने काम देखा है।
Created On :   15 May 2022 2:29 PM IST