वर्षा से प्रभावित फसलों की क्षति का सर्वे कराया जायेगा : मुख्यमंत्री श्री चौहान सर्वे कर देंगे सहायता राशि |

वर्षा वर्षा से प्रभावित फसलों की क्षति का सर्वे कराया जायेगा : मुख्यमंत्री श्री चौहान सर्वे कर देंगे सहायता राशि |

Bhaskar Hindi
Update: 2021-10-21 09:20 GMT

डिजिटल डेस्क | उज्जैन मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि प्रदेश के कुछ स्थानों पर फसलों को गत दो दिवस में हुई वर्षा से क्षति हुई है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि वे सभी किसान भाई-बहनों को आश्वस्त करना चाहते हैं कि इस वर्षा से प्रभावित किसानों को आवश्यक राहत प्रदान की जाएगी। इस उद्देश्य से प्रभावित क्षेत्रों में फसलों की क्षति के सर्वे के निर्देश दिए गए हैं। क्षति का आंकलन होने पर प्रभावितों को सहायता राशि मिलेगी। किसानों को फसल बीमा योजना का लाभ भी दिलवाया जाएगा। इसके लिए आवश्यक प्रबंध किए जाएंगे।

राज्य सरकार किसानों के इस कष्ट में पूरी तरह उनके साथ है। मध्यप्रदेश सरकार किसान हितैषी सरकार है। किसानों और घरेलू उपभोक्ताओं के लिए खजाने से देंगे राशि मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि अलग-अलग श्रेणी के किसानों और घरेलू उपभोक्ताओं के लिए सस्ती बिजली देने के लिए सरकार ने अपने खजाने से राशि देने का निर्णय लिया है।

सरकार की तरफ से बीस हजार करोड़ रुपये से अधिक की सब्सिडी दी जाएगी। किसानों को सस्ती बिजली इसलिए मिलती है क्योंकि सरकार ने खजाने से राशि देती है। अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर कोयले की दरें बढ़ने के कारण उत्पन्न समस्याओं के बावजूद बिजली की आपूर्ति बाधित नहीं होने दी जाएगी। बिजली कंपनी को सहायता की आवश्यकता थी। आज दुनिया भर में बिजली संकट है। बहुत से विकसित देश भी इससे जूझ रहे हैं।

प्रधानमंत्री जी भी समस्या से अवगत हैं। वे मध्यप्रदेश को कष्ट नहीं होने देंगे। उनके स्तर से भी आवश्यक सहयोग मिल रहा है। घरेलू उपभोक्ताओं को भी लगभग 4900 करोड़ की सब्सिडी हम देते हैं। तब कहीं सस्ती बिजली मिलती है। कुल मिलाकर 20 हजार 700 करोड़ रुपये से अधिक की सब्सिडी देने का निर्णय लिया गया है। इससे किसानों और घरेलू उपभोक्ताओं को सस्ती बिजली मिल सकेगी। कम करें बिजली खर्च मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि यह जरूरी है कि संकट के इस दौर में अनावश्यक विद्युत का उपयोग न हो। जरूरत के अनुसार ही बिजली का इस्तेमाल हम सभी के हित में है। सभी लोग बिजली बचाने का प्रयत्न करें। यथासंभव हम बिजली बचाएँ।

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