नागपुर रेलवे को 38 करोड़ और एस टी को 3 करोड़ का नुकसान

नागपुर रेलवे को 38 करोड़ और एस टी को 3 करोड़ का नुकसान

Bhaskar Hindi
Update: 2020-03-31 12:07 GMT
नागपुर रेलवे को 38 करोड़ और एस टी को 3 करोड़ का नुकसान

डिजिटल डेस्क, नागपुर। कोरोना के कारण पूरे देश की रेल व एस टी बस व्यवस्था ठप है। जिसके चलते केवल नागपुर विभाग व शहर की बात करें तो रेलवे को 38 करोड़ का नुकसान उठाना पड़ सकता है। जबकि राज्य मार्ग परिवहन महामंडल को 3 करोड़ से ज्यादा का नुकसान सामने होने का चित्र सामने हैं। जिससे आनेवाले समय में दोनों विभाग की आर्थिक व्यवस्था बिगड़ सकती है। 

उल्लेखनीय है कि आवागमन के लिए प्रमुख साधन के तौर पर प्राथमिकता रेलवे को दी जाती है। कम किराया में गंतव्य तक पहुंचाने के लिए यात्री एस टी बसों को भी पसंद करते हैं। जिसके चलते प्रति दिन लाखों की संख्या में यात्री इन व्यवस्था पर निर्भर रहते हैं। हालांकि बारिश व ठंड में यात्रियों की संख्या इतनी ज्यादा नहीं रहती, लेकिन ग्रीष्म में शादी-ब्याह व छुटिटयों का दौर होता है इस दौरान यात्रियों की संख्या बढ़ जाती है।

रेलवे व एस टी बसों को यात्रियों को संभालने के लिए अतिरिक्त व्यवस्था भी करनी पड़ती है। जिससे एक ओर यात्रियों को अच्छी सुविधा मिलती है। दूसरी ओर संबधित प्रशासन का राजस्व भी खूब बढ़ता है। जिसके भरोसे आनेवाले बारिश व ठंड के दिनों की व्यवस्था सुचारू तरह से चलाई जा सकती है। लेकिन इन दिनों कोरोना का कहर जहां-तहां देखने मिल रहा है। पूरी दुनिया इससे परेशान होकर रह गई है। संक्रमण को रोकने के लिए परिवहन व्यवस्था तक को ठप कर दिया गया है। जिसमें रेलवे व एस टी बसें भी शामिल है। इससे आनेवाले दिनों में दोनों विभागों को करोड़ों का नुकसान होने की बात से इंकार नहीं किया जा सकता।

19 लाख 93 हजार यात्रियों ने 2019 में ली थी इसी अवधि में टिकट 
केवल मध्य रेलवे नागपुर मंडल की बात करें तो गत वर्ष यानि वर्ष 2019 के 22 मार्च से 14 अप्रैल के बीच में 19 लाख 93 हजार यात्रियों ने टिकटें खरीदी थी, जिसके चलते रेलवे के खाते में 38 करोड़ 96 लाख रुपये जमा हुए थे, लेकिन इस साल महामारी के कदम रखते ही उपरोक्त अवधि में परिवहन ठप रहने से खाते में 0 राशि आई है। यही नहीं इसके डर से 22 मार्च के पहले चली गाड़ियों में भी अधिकतम टिकटें कैन्सिल रही।

हर दिन औसतम 13 लाख की कमाई करता है एस टी बस स्टैण्ड 
राज्य मार्ग परिवहन महामंडल के आंकड़े देखें तो ग्रीष्म में अकेले गणेशपेठ बस स्टैण्ड से ही औसतम 13 लाख रुपये की टिकटें बेची जाती है। ऐसे में उपरोक्त अवधि के दौरान 3 करोड़ से ज्यादा टिकटें इस बार नहीं बेची जा सकेगी।


 

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