भंडारा शहर समेत जिले के कई हिस्से जलमग्न
गोसीखुर्द प्रोजेक्ट भंडारा शहर समेत जिले के कई हिस्से जलमग्न
डिजिटल डेस्क, भंडारा । गोसीखुर्द बांध विभाग द्वारा इस वर्ष गोसीखुर्द प्रकल्प को शत-प्रतिशत भरने के फैसले के चलते वैनगंगा नदी का जलस्तर धीरे-धीरे बढ़ने लगा है। जिससे भंडारा शहर समेत जिले के कई हिस्से जलमग्न हो गए है, तो कुछ खेतों में पानी भर गया है। इसी तरह शहर के ग्रामसेवक कॉलनी के कुछ मकान पानी में डूब गए है। यह हालात जनवरी माह के दो सप्ताह तक ऐसे ही बने रहेंगे, ऐसी जानकारी संबंधित विभाग की ओर से दी गई है। पिछले दो सप्ताह से भंडारा शहर के श्मशान घाट की ओर जानेवाला मार्ग पानी के नीचे चला गया है। ऐसी स्थिति में नागरिकों को यहां बनाए गए अस्थायी मार्ग से जान जोखिम में डालकर श्मशान भूमि तक पहुंचना पड़ रहा है। इधर, जिला प्रशासन ने वैनगंगा नदी के लगातार बढ़ते जलस्तर को ध्यान में रखते हुए नदी किनारे बसे सभी गांवों में अलर्ट जारी किया है।
उल्लेखनीय है कि गोसीखुर्द बांध विभाग द्वारा इस वर्ष गोसीखुर्द प्रकल्प को शत-प्रतिशत भरने के बाद बांध का पानी कहा तक फैलता है, इसका अध्ययन करने के उद्देश्य से गोसीखुर्द प्रकल्प में आगामी 15 दिसंबर तक जलसंग्रह कर जलस्तर बढ़ाया जाने वाला था। लेकिन जलधारा कम होने से गोसीखुर्द बांध विभाग द्वारा जनवरी माह के पहले सप्ताह तक जलस्तर बढ़ाएगा। यह तय स्तर से 0.4 मीटर कम है। पहले वैनगंगा नदी का जलस्तर प्रति दिन एक से.मी. तक बढ़ता था। लेकिन अब जलधारा कम होने से 15 दिसंबर तक जलस्तर 245.500 मीटर तक नहीं पहुंच पाया है। वर्तमान में दो से.मी. तक पानी बढ़ रहा है।
ऐसे में इस स्तर तक पहंुचने में और 20 से 25 दिन लगने की संभावना हंै। ऐसे में जिला प्रशासन की ओर से वैनगंगा नदी किनारे बसे गांवों मेंअलर्ट जारी किया गया है। बता दें कि गोसीखुर्द बांध विभाग के इस निर्णय के बाद वैनगंगा नदी में जलस्तर बढ़ने लगा है, जिससे भंडारा शहर समेत जिले के कई हिस्से जलमग्न हो गए, तो कुछ खेतों में पानी भर गया है। अभी और लगभग एक माह ऐसे ही हालात बने रहेंगे, ऐसी जानकारी संबंधित विभाग की ओर से दी गई है। उल्लेखनीय है कि भंडारा जिले के पवनी तहसील में स्थित गोसीखुर्द बांध प्रकल्प को अब तक शत-प्रतिशत नहीं भरा जा सका हंै। गोसीखुर्द बांध की क्षमता 1146 दलघमी होकर इस वर्ष बांध में 940 दलघमी तक पानी संग्रहित किया जा सका हंै। ऐसे में यदि बांध शत-प्रतिशत भरने पर, कहा तक जलजमाव होता है? इसके लिए और भूमि हस्तांतरित करने की जरूरत है क्या? आदि प्रश्नों के चलते गोसीखुर्द बांध विभाग द्वारा एक माह से लगातार वैनगंगा नदी का पानी बांध में संग्रहित किया जा रहा है।