किसान खरीफ फसलो की बुवाई पर्याप्त वर्षा होने पर करें!
किसान खरीफ फसलो की बुवाई पर्याप्त वर्षा होने पर करें!
डिजिटल डेस्क | आगर-मालवा जिले के कृषकों द्वारा खरीफ फसलो की बुवाई कार्य प्रारंभ कर दिया गया है। जबकि अभी जिले के कई ग्रामो में बारिश कम और कही अभी नही हुई है। जिसके कारण कई किसानो द्वारा बुआई कार्य नही किया जा रहा है। जिले में आज तक औसत वर्षा 67.5 मिमी. हुई है। जो अभी बोवनी लायक नही है। प्रभारी उपसंचालक कृषि के.आर.सालमी ने जिले के पिपलोन, मदकोटा, कडवाला, कोहडिया, पिलवास, गणेशपुरा, गागोरनी, कीटखेड़ी इत्यादि ग्रामो में भ्रमण कर किसानों को सलाह है कि जब तक पर्याप्त वर्षा 3 से 4 इंच नही हो जाती तब तक सोयाबीन एवं अन्य फसलो की बुआई कार्य नही करे। जिससे कि बोयी गई फसल को कम नमी के कारण किसी भी प्रकार का कोई नुकसान न हो।
उन्होंने किसानों को सोयाबीन बीज की कमी को देखते हुए सोयाबीन फसल के अलावा अन्य फसल परिवर्तन कर ज्वार, मूंग, उड़द, अरहर, मूंगफली एवं मक्का की फसल बोने हेतु प्रेरित किया। उन्होंने कहा है कि जिन किसानों के पास स्वयं का सोयाबीन बीज उपलब्ध है। वह अपने बीज को न्यूनतम 70 प्रतिशत अंकुरण के अनुसार बीज दर 75 से 80 किलो प्रति हेक्टर का प्रयोग करे एवं बोने के पूर्व अनुशंसित फफूदनाशक एवं कीटनाशक दवा से बीजोपचार करे व उर्वरक की अनुषंसित मात्रा का उपयोग करे। साथ ही उन्हे रेज्ड बेड तथा रिज एवं फरो पद्धति से बोने की भी सलाह दी जा रही है। उन्होंने कहा किसानों को सलाह दी है कि जो बीज निजी विक्रेताओं से खरीदा जा रहा है, उसे क्रय करने के पश्चात पक्का बिल अवष्य लेवे।
उन्होंने बताया कि इस वर्ष खरीफ मौंसम में विभाग द्वारा 170.870 हैक्टर बोवनी का लक्ष्य प्रस्तावित है। उप संचालक ने जिले के विकासखण्डो के वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी, ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी एवं बी.टी.एम. आत्मा को ग्रामो में जाकर चौपाल लगाकर किसानों को सोयाबीन के साथ अन्य खरीफ फसले उत्पादित करने के समझाईश देने एवं प्रेरित करने के निर्देश दिए है।