कूटनीति: अमेरिका के साथ पुरानी वार्ता हमारे हितों के खिलाफ रही तानाशाह किम जोंग-उन
उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग-उन की मानें तो उनके देश ने अमेरिका के साथ बातचीत में हर संभव प्रयास किया, लेकिन इससे प्योंगयांग के प्रति वाशिंगटन की अडिग शत्रुतापूर्ण नीति की पुष्टि हुई है। उत्तर कोरिया की सरकारी मीडिया ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
सोल, 22 नवंबर (आईएएनएस)। उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग-उन की मानें तो उनके देश ने अमेरिका के साथ बातचीत में हर संभव प्रयास किया, लेकिन इससे प्योंगयांग के प्रति वाशिंगटन की अडिग शत्रुतापूर्ण नीति की पुष्टि हुई है। उत्तर कोरिया की सरकारी मीडिया ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
योनहाप समाचार एजेंसी ने कोरियन सेंट्रल न्यूज एजेंसी (केसीएनए) के हवाले से बताया कि किम ने पिछले दिन प्योंगयांग में 'रक्षा विकास-2024' नामक एक हथियार प्रदर्शनी के उद्घाटन समारोह में भाषण के दौरान यह टिप्पणी की थी।
किम ने अपने भाषण में कहा था कि हम पहले ही अमेरिका के साथ बातचीत में हर हद तक जा चुके हैं और परिणाम से जो निश्चित था वह उत्तर कोरिया के प्रति अपरिवर्तनीय आक्रामक और शत्रुतापूर्ण नीति थी।
उन्होंने कहा कि कोरियाई प्रायद्वीप पर चरम स्थिति दूसरे पक्ष की गलतफहमी का परिणाम नहीं है, जाहिर तौर पर उनका इशारा अमेरिका की ओर था।
उन्होंने कहा कि दुश्मन को मात देने के लिए रक्षा क्षमता का उच्चतम स्तर हासिल करना ही शांति बनाए रखने का एकमात्र तरीका है।
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