डिंडोरी: नव उद्यमियों को शोध आधारित तकनीक उपलब्ध कराना जरूरी -मंत्री सखलेचा
डिंडोरी: नव उद्यमियों को शोध आधारित तकनीक उपलब्ध कराना जरूरी -मंत्री सखलेचा
डिजिटल डेस्क, डिंडोरी। डिंडोरी विज्ञान-प्रौद्योगिकी तथा सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री श्री ओमप्रकाश सखलेचा ने कहा है कि तेजी से बदल रही तकनीकी के दृष्टिगत भारत को आत्मनिर्भर बनाने के लिए युवा उद्यमियों के लिए शोध आधारित तकनीकी उपलब्ध कराना होगी। मंत्री श्री सखलेचा छठवें अंतर्राष्ट्रीय भारतीय विज्ञान महोत्सव आईआईएसएफ-2020 में देश के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रियों के साथ संवाद कार्यक्रम को वर्चुअल रूप से सम्बोधित कर रहे थे। उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को महोत्सव का उद्घाटन किया था। मंत्री श्री सखलेचा ने कहा कि तकनीकी के माध्यम से हमने कई कार्यक्रम किए और कहीं-न-कहीं इन दिनों कोरोना की महामारी के समय में इसके उपयोग से बहुत ही फायदा हुआ है। उन्होंने कहा कि रिसर्च और विकास में तारतम्य नहीं होने से एमएसएमई या मध्यम उद्यम का अपेक्षाकृत कम विकास हुआ है। उन्होंने कहा कि आवश्यकताओं को हम कैसे एमएसएमई इंडस्ट्री से ज्यादा से ज्यादा कनेक्ट करें यह आज की जरूरत है। मंत्री श्री सखलेचा ने कहा कि चाहे डीआरडीओ हो, रेलवे हो या अन्य कई ऑर्गेनाइजेशन जो टेक्नॉलॉजी अपग्रेडेशन कर रहे हैं उस टेक्नोलॉजी को कॉमन प्रोडक्शन और मध्यम एमएसएमई वर्ग में लेकर जाएंगे तो हम एक साथ देश की तीन बड़ी समस्याओं को हल कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि जैसा कल प्रधानमंत्री जी ने जब कार्यक्रम की शुरुआत की थी, उसमें तीन चार बातें बड़ी महत्वपूर्ण हैं। चाहे हाइड्रोजन टेक्नॉलॉजी की बात कही हो, चाहे ब्लू या ग्रीन एनर्जी की बात कही हो, चाहे उस के माध्यम से अन्य चीजों की, इसे शोध के साथ तकनीकी को उद्योगों में अंतरित कर पूरा किया जा सकता है। श्री सखलेचा ने कहा कि मध्यप्रदेश में साइंस एंड टेक्नोलॉजी विभाग पूरा प्रयास कर रहा है कि हमारे युवा उद्यमियों को तकनीक के साथ ज्यादा-से-ज्यादा डाटा इकट्ठा करके उद्योगों को वास्तविक बनाने के गम्भीर प्रयास किये जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि पिछले सेमिनार में केंद्रीय मंत्रियों से आग्रह किया था कि रिसर्च में आधा प्रतिशत फंड निर्धारित किया जाये। इससे बहुत तेजी से हम आगे बढ़ेंगे, इसके लिए हमने मध्यप्रदेश में प्रयास किया है।