14 साल से पोलीपाथर में रह रहा था बांग्लादेशी
पुलिस ने कोर्ट में पेश कर आरोपी को जेल भेजा
डिजिटल डेस्क जबलपुर। बांग्लादेशी एक युवक ने किसी तरह भारत की सीमा में प्रवेश किया और फिर जबलपुर आकर पोलीपाथर क्षेत्र में बस गया। करीब 14 साल बाद उसने पासपोर्ट बनवाने के लिए आवेदन किया और उसमें जो दस्तावेज लगाए उनके फर्जी नजर आने पर जाँच-पड़ताल की गई। जाँच में फर्जीवाड़ा उजागर होने पर ग्वारीघाट पुलिस ने आरोपी के खिलाफ पासपोर्ट अधिनियम की धाराओं के तहत मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया। आरोपी को गुरुवार को कोर्ट में पेश किया गया। जहाँ से उसे जेल भेजा गया।
पुलिस के अनुसार बांग्लादेशी नागरिक रपन विश्वास वर्ष 2009 में टूरिस्ट वीजा और पासपोर्ट पर भारत के पश्चिम बंगाल आया था। वहाँ से वह मध्यप्रदेश के पन्ना और सिवनी जिले में आकर कुछ समय रहा। उसके बाद वह जबलपुर आया और शाहीनाका में किराए का मकान लेकर रहने लगा। उसने ग्वारीघाट क्षेत्र स्थित बागड़ा दफाई में जमीन लेकर मकान बनवाया और उस मकान में रहकर मजदूरी करता था। उसने अपना पासपोर्ट बनवाने के लिए जो दस्तावेज लगाए उनकेे फर्जी नजर आने पर वह पकड़ा गया।
फर्जी दस्तावेज तैयार किए
जाँच में खुलासा हुआ कि बांग्लादेशी नागरिक रपन ने अपनी स्कूली व कॉलेज की शिक्षा बांग्लादेश में की थी और भारत में रहने के दौरान उसे किसी प्रकार की परेशानी न हो, इसके लिए उसने कोलकाता निवासी सुब्रत नामक व्यक्ति से संपर्क किया और कक्षा 8वीं से लेकर 12वीं तक की अंकसूची, जन्म प्रमाण पत्र व टीसी आदि दस्तावेज बनवाए थे। उन फर्जी दस्तावेजों के आधार पर उसने अपना आधार कार्ड व पेनकार्ड भी बनवाया।
पासपोर्ट बनवाने किया आवेदन
जानकारी के अनुसार कुछ समय पूर्व रपन ने भारतीय पासपोर्ट बनवाने के लिए आवेदन किया था। पुलिस वेरिफिकेशन के लिए जब मामला ग्वारीघाट पुलिस के पास पहुँचा, तो पुलिस भौतिक सत्यापन के लिए ग्वारीघाट बागड़ा दफाई स्थित उसके घर पहुँची। घर पर उसके पिता प्रोवास विश्वास और चचेरा भाई तन्मोय विश्वास मिले। उनसे पूछताछ व दस्तावेजों की जाँच करने पर उसके फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ।
पुलिस को गुमराह करने का प्रयास
जानकारी के अनुसार दस्तावेजों की जाँच के दौरान संदेह होने पर पुलिस ने रपन, उसके पिता व चचेरे भाई से पूछताछ की, तो वे बंगाली भाषा में बात कर पुलिस को गुमराह करने लगे। इसके बाद अधिकारियों द्वारा बंगाली और हिन्दी भाषा जानने वाले आरक्षक को बुलाकर पूछताछ की। पूछताछ में पता चला कि उसके पिता व चचेरा भाई 13 दिसम्बर 2023 को बांग्लादेश से पश्चिम बंगाल के नदिया जिला पहुँचे थे। वहाँ से जबलपुर आए थे। उनके पासपोर्ट और वीजा की जाँच करने पर वे सही पाए गए।
जाँच में हुआ खुलासा
बांग्लादेशी नागरिक रपन विश्वास अवैध रूप से भारत में रह रहा था। उसने फर्जी दस्तावेज तैयार कर पासपोर्ट व वीजा के लिए आवेदन किया था। पुलिस वेरिफिकेशन के दौरान फर्जीवाड़ा उजागर होने पर आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार किया गया है।
-संजीव त्रिपाठी, टीआई ग्वारीघाट