वित्त वर्ष 2019-20 में बैंक धोखाधड़ी के 84,545 मामले सामने आए, RTI से हुआ खुलासा
वित्त वर्ष 2019-20 में बैंक धोखाधड़ी के 84,545 मामले सामने आए, RTI से हुआ खुलासा
- एक आरटीआई कार्यकर्ता ने भारतीय रिजर्व बैंक से मिली जानकारी का हवाला देते हुए यह जानकारी दी
- जून 2020 में आरबीआई के अधिकार क्षेत्र के तहत बैंकिंग से संबंधित विभिन्न सवाल पूछे थे
- वित्तीय वर्ष 2019-20 के दौरान धोखाधड़ी के कुल 84
- 545 मामलों के बारे में बताया
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। वित्त वर्ष 2019-20 के दौरान अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों और वित्तीय संस्थानों ने धोखाधड़ी के 84,545 मामलों की जानकारी दी, जिनकी कुल राशि 1.85 लाख करोड़ रुपये थी। एक आरटीआई कार्यकर्ता ने भारतीय रिजर्व बैंक से मिली जानकारी का हवाला देते हुए यह जानकारी दी।
आरटीआई (सूचना का अधिकार) कार्यकर्ता अभय कोलारकर ने कहा कि उन्होंने जून 2020 में आरबीआई के अधिकार क्षेत्र के तहत बैंकिंग से संबंधित विभिन्न सवाल पूछे थे, और उन्हें कुछ दिन पहले उनके जवाब मिले। कोलारकर ने आरटीआई में पूछा था कि एक अप्रैल 2019 से 31 मार्च 2020 के दौरान धोखाधड़ी के कितने मामले सामने आए और इसमें कितनी राशि शामिल थी।
आरबीआई ने अपने जवाब में बताया कि अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों और वित्तीय संस्थानों ने वित्तीय वर्ष 2019-20 के दौरान धोखाधड़ी के कुल 84,545 मामलों के बारे में बताया और इसमें शामिल राशि 1,85,772.42 करोड़ रुपये है।
आरटीआई में यह भी पूछा गया कि बीते वित्त वर्ष के दौरान आरबीआई के 15 लोकपाल कार्यालयों को कितनी उपभोक्ता शिकायतें मिलीं। इसके जवाब में आरबीआई ने कहा कि एक जुलाई 2019 से मार्च 2020 के दौरान लगभग 2,14,480 शिकायतें मिलीं।