PMC बैंक फ्रॉड: ज्वैलरी, एयरक्राफ्ट के बाद अब HDIL के मालिक का याच्ट जब्त करेगी ED
PMC बैंक फ्रॉड: ज्वैलरी, एयरक्राफ्ट के बाद अब HDIL के मालिक का याच्ट जब्त करेगी ED
डिजिटल डेस्क, मुंबई। पंजाब एंड महाराष्ट्र (पीएमसी) बैंक फ्रॉड मामले में प्रवतर्तन निदेशालय (ईडी) एचडीआईएल के प्रबंधन निदेशक सारंग वाधवान (सनी) के याच्ट को जब्त करने जा रही है। अधिकारियों को पता चला है कि सारंग वाधवान का याच्ट मालदीव में डॉक किया गया है। इसकी जब्ती की प्रक्रिया भी शुरू कर दी गयी है।
इससे पहले शनिवार को ईडी ने पीएमसी मनी लॉन्ड्रिंग केस में सारंग वाधवान की करीब 60 करोड़ की ज्वैलरी और एक प्राइवेट एयरक्राफ्ट को अटैच किया था। नौ सीटर बॉम्बार्डियर चैलेंजर-300 एयरक्राफ्ट प्रिविलेज एयरवेज प्राइवेट लिमिटेड के नाम से रजिस्टर है। एक कंपनी जिसमें सनी और उनके पिता राकेश वधावन डायरेक्टर हैं। ईडी के अधिकारियों को एक मुखबिर के माध्यम से पता चला था कि वाधवान के पास एक प्राइवेट एयरक्राफ्ट है। इस जानकारी के बाद ईडी ने एयरपोर्ट अधिकारियों से इसका पता लगाने में मदद करने के लिए कहा था।
ज्वैलरी को अटैच होने से बचाने के लिए, सनी ने इसे उनकी पत्नी अनु के एक करीबी रिश्तेदार के पास शिफ्ट कर दिया था। ईडी को जब इस बारे में पता चला तो उन्होंने सनी के रिश्तेदारों को ज्वैलरी सरेंडर करने के लिए मना लिया। ईडी ने सनी के रश्तेदारों से कहा कि वह कि भी तरह की कानूनी परेशानी से बचने के लिए ज्वैलरी सरेंडर कर दें। अधिकारियों ने कहा कि वे एक वैलुअर की मदद से इसकी कीमत का पता लगाएंगे।
अधिकारियों को यह भी पता चला कि सनी एक याच्ट के मालिक है जिसे मालदीव में डॉक किया गया है और इसकी जब्ती के लिए प्रक्रिया शुरू कर दी है। ईडी को एक लाइसेंसी पिस्तौल भी मिली है जिसे परिवार ने पुलिस को प्रस्तुत नहीं किया था, हालांकि चुनाव आचार संहिता के दौरान ऐसा करना अनिवार्य है। इससे पहले, ED ने वाधवान की 10 लग्जरी कारों को अटैच किया था जिसमें दो रोल्स रॉयस, दो लैंड रोवर, एक बेंटले और एक मर्सिडीज शामिल थी।
सनी और राकेश, जिन्हें कई राजनेताओं का करीबी माना जाता है, मुंबई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा की हिरासत में हैं। कांग्रेस-राकांपा के शासनकाल में वाधवान की अचल संपत्ति में जबरदस्त उछाल देखा गया था। ईडी ने शुक्रवार को मुंबई में पांच एचडीआईएल परिसरों पर छापेमारी की जिसमें बांद्रा (पूर्व) का ग्रुप ऑफिस और वाधवान के घर भी शामिल थे। अधिकारियों ने पाया कि पश्चिमी उपनगरों के पूर्व मंत्री सहित कुछ राजनेताओं को वाधवान ने बांद्रा के आसपास के कुछ व्यावसायिक परिसरों को गिफ्ट में दिया था।