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अतिवृष्टि प्रभावित, आपदा प्रवण गांवों का होगा पुनर्वास
डिजिटल डेस्क, चंद्रपुर। जिले के घुग्घुस स्थित आमराई वार्ड में 26 अगस्त को शाम जमीन धंसने से एक घर दर्जनों फीट नीचे चला गया था। इस घटना की गंभीरता को देखते हुए सांसद बालू धानोरकर ने प्रशासन को तत्काल आवश्यक सूचना दिए थे। इसमें पीड़ितों को मदद कैसे करे, ऐसा एक बड़ा सवाल था। यह देखते हुए पुनर्वसन नीति में दुरुस्ती कर जमीन धंसने जैसे आपदा का इसमें समावेश कर आर्थिक मदद करने की मांग 27 अगस्त को पत्र भेजकर सांसद धानोरकर ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे से की थी। इसका संज्ञान लेकर सोमवार को हुई मंत्रिमंडल की बैठक में सकारात्मक निर्णय हुआ है।
घुग्घुस का आमराई वार्ड पुराने अंडरग्राउंंड खदान परिसर में बसा है। परिसर के प्रभावित परिवारों को कितनी सहायता मिले, इसके लिए कोई दिशा-निर्देश नहीं है, जिससे वेकोलि के माध्यम से मदद निधि, राजस्व व नगर परिषद प्रशासन द्वारा जमीन के पट्टे, आवास योजना से घर मिलने प्रयास किया गया। इसके लिए राज्य में नई पुनर्वसन नीति तैयार कर उस पर अमल करना जरूरी है। इस नई पुनर्वसन नीति में भूस्खलन, पहाड़ खिसकना, अतिवृष्टि से नुकसान संबंध में स्पष्ट ठोस मदद निश्चित होने पर सुविधाजनक होगा। इस आशय की मांग सांसद धानोरकर ने की थी। इस संबंध में विशेष बैठक जिलाधिकारी ने बुलाई थी। यह गंभीर प्रश्न फिर सामने आने पर प्रशासन को उचित-दिशा निर्देश मिलने की दृष्टि से धानोरकर ने पत्र द्वारा मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को पुनर्वसन नीति में दुरूस्ती कर भूस्खलन जैसे आपदा के समय मदद हो, इसके लिए समावेश करने की मांग की थी। सोमवार को मंत्रिमंडल में सकारात्मक निर्णय हुआ है। इस निर्णय से लाखों नागरिकों को लाभ मिलेगा। मुख्यमंत्री कार्यालय को घुग्घुस के 160 पीड़ित परिवार की सूची भेजी गई है। इस निर्णय का लाभ उन्हें तत्काल देने की मांग भी उन्होंने की है। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के साथ खुद भेंट कर घुग्घुस के पीड़ित परिवार को लाभ देने की मांग सांसद धानोरकर करनेवाले हैं।
Created On :   13 Sept 2022 4:04 PM IST