लाखों अधिकारियों-कर्मचारियों के भविष्य को सुरक्षित करने लागू की गई पुरानी पेंशन योजना

Old pension scheme implemented to secure the future of lakhs of officers and employees
लाखों अधिकारियों-कर्मचारियों के भविष्य को सुरक्षित करने लागू की गई पुरानी पेंशन योजना
छत्तीसगढ़ लाखों अधिकारियों-कर्मचारियों के भविष्य को सुरक्षित करने लागू की गई पुरानी पेंशन योजना

डिजिटल डेस्क, रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज विधानसभा में वित्तीय वर्ष 2022-23 के आय-व्ययक पर सामान्य चर्चा का जवाब देते हुए कहा कि राज्य सरकार का यह प्रयास है कि बजट का लाभ सभी वर्गों को मिले। गरीबों के जीवन स्तर में बदलाव आए। सभी को शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार के अच्छे अवसर मिले। गरीबों, आदिवासियों और आम लोगों की जेब में सीधे पैसा जाए और उनके जीवन में बदलाव आए।

उन्होंने कहा कि बजट में हर वर्ग का ध्यान रखा गया है। लोगों को राशन, बिजली, किसानों को निःशुल्क बिजली की व्यवस्था, किसानों को राजीव गांधी किसान न्याय योजना और भूमिहीन कृषि मजदूरों को राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना के माध्यम से सहायता दी जा रही हैं। लाखों अधिकारियों-कर्मचारियों के भविष्य को सुरक्षित करते हुए पुरानी पेंशन योजना लागू की गई है। 

मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ के किसानों और मजदूरों के हित में यदि हमें कर्ज लेना पड़े तो हम लेंगे, इनको धोखा नहीं देंगे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने किसानों से किया गया वादा निभाया है। किसानों को धान का 2500 रूपए क्विंटल देने का वादा किया था। लगातार इसे रोकने की कोशिश की गई। लेकिन हमने कहा कि इससे एक रूपए भी कम नहीं होगा, हमने अपना वादा निभाया। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि सदन में पूरे बजट के दौरान एक बार भी हमारे सदन के सदस्यों ने टोका-टाकी नहीं की, यह इस बजट की सफलता है। उन्होंने कहा कि पिछली सरकार ने खराब गुणवत्ता की इतनी पतली सड़क बनाई की तीन साल में ही उखड़ गई। उस समय छत्तीसगढ़ नक्सलगढ़ के नाम से जाना जाता था, लेकिन आज नक्सल घटनाओं में कमी आई है। 

मुख्यमंत्री ने विपक्ष से कहा कि आपने बोनस नहीं दिया और अब हमें कहते हैं कि बोनस दो। पहले केन्द्रीय योजनाओं में केन्द्र का हिस्सा 90 प्रतिशत होता था। बाद में यह 60 प्रतिशत और वर्तमान में राज्य और केन्द्र का हिस्सा 50-50 प्रतिशत हो गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने किसानों की कर्जमाफी की, 25 सौ में धान खरीदा, आज किसान अपने पसंद का मकान बना रहे हैं। उन्होंने केन्द्र सरकार के आंकड़ों का उल्लेख करते हुए कहा कि राष्ट्रीय गुणवत्ता परीक्षकों के माध्यम से पिछले तीन वर्षों में छत्तीसगढ़ में निर्मित प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना की सड़कों का परीक्षण करवाया गया, जिसमें 99.75 प्रतिशत कार्य संतोषप्रद पाया गया। छत्तीसगढ़ सड़क निर्माण में 85 प्रतिशत उपलब्धि के साथ देश में प्रथम स्थान पर है। इसके लिए भारत सरकार ने 221 करोड़ रूपए का पुरस्कार छत्तीसगढ़ को प्रदान किया। उन्होंने कहा कि वर्ष 2020-21 में 6000 किलोमीटर सड़कों की मरम्मत की निविदा जारी की गई है, 3342 किलोमीटर की स्वीकृति जारी की गई है। 

मुख्यमंत्री ने कहा कि केन्द्र सरकार छत्तीसगढ़ को अनुदान और केन्द्रीय करों में हिस्सा कम दे रही है। जबकि हम राज्य के राजस्व में लगातार वृद्धि कर रहे है। ऐसा पहली बार हुआ है कि केन्द्रीय कर अनुदान और छत्तीसगढ़ का राजस्व बराबर है। छत्तीसगढ़ का राजस्व 44 हजार 500 करोड़ रूपए और केन्द्रीय कर अनुदान भी 44 हजार 500 करोड़ रूपए है। उन्होंने जीएसडीपी के संबंध में कहा कि वर्ष 2021-22 में छत्तीसगढ़ का जीएसडीपी 11.54 जबकि केन्द्र का 9.2 प्रतिशत रहा। वर्ष 2020-21 में जब कोरोना पीक पर था, केन्द्र का जीएसडीपी माईनस 7.7 था। उस समय छत्तीसगढ़ में इसे 1.7 में रोकने में सफलता पायी। छत्तीसगढ़ ने उत्तर प्रदेश, गुजरात, मध्यप्रदेश, हरियाणा और कर्नाटक से कम ऋण लिया है। 

मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछली सरकार के 15 साल में 4 मेडिकल कॉलेज प्रारंभ हुए। हमारे तीन वर्ष में कोरबा, कांकेर, महासमुंद मेडिकल कॉलेज की स्वीकृति मिली और दुर्ग के निजी मेडिकल कॉलेज का अधिग्रहण किया गया। राज्य में कुपोषण में कमी आई है। हम बीपीएल और एपीएल परिवारों को 35 किलो प्रति परिवार चावल दे रहे हैं। राज्य सरकार 68 लाख कार्डधारियों को राशन दे रही है। इस बजट में हर वर्ग का ख्याल रखा गया है। राज्य सरकार नौकरी दे रही है, इसलिए हमारा स्थापना व्यय बढ़ा है। 

मुख्यमंत्री ने गोधन न्याय योजना का उल्लेख करते हुए कहा कि इस योजना से पशुपालन और डेयरी के व्यवसाय के प्रति लोगों का रूझान बढ़ा है, खेत की सुरक्षा हो रही है। प्रधानमंत्री ने भी छत्तीसगढ़ में किए गए गोबर से नवोन्वेष को पूरे देश में लागू करने की बात कही है। केन्द्र सरकार और लोकसभा का दल छत्तीसगढ़ की इस योजना के अध्ययन के लिए आ रही है। उन्होंने स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम स्कूल का उल्लेख करते हुए कहा कि इस वर्ष हिन्दी माध्यम के 32 स्वामी आत्मानंद स्कूल प्रारंभ किए जाएंगे। हमारी कोशिश होगी कि हर जिले में कम से कम ऐसा एक स्कूल प्रारंभ हो। उन्होंने कहा कि पिछले तीन वर्षों में बस्तर और सरगुजा में स्वास्थ्य सुविधाएं बेहतर हुई हैं। वहां विशेषज्ञ डॉक्टरों सहित चिकित्सा उपकरणों और सुविधाओं की व्यवस्था की गई है। 

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने शराब और गांजे की अवैध तस्करी रोकने का काम किया है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ में 44 प्रतिशत भू-भाग में वन है। हमारी कोशिश है कि वनों में रहने वाले लोगों के जीवन में परिवर्तन आए। इन क्षेत्रों में वन अधिकार पट्टों का वितरण किया गया है। वहीं कोरोनाकाल में भी लघुवनोेपजों की खरीदी की गई है। छत्तीसगढ़ ऐसा अकेला राज्य है जहां कोदो-कुटकी और रागी की समर्थन मूल्य पर खरीदी की जा रही है।

लाख पालन और मछलीपालन को कृषि का दर्जा दिया गया है। हमारी कोशिश है कि लोगों की आय बढ़े, उनके जीवन स्तर में बदलाव आए, कुपोषण खत्म हो और लोगों को रोजगार मिले। उन्होंने कहा कि पिछली सरकार के समय कमलविहार जैसी आवासीय योजनाएं प्रारंभ की गई, नई राजधानी बनाई गयी, लेकिन लोग वहां नहीं बस रहे हैं। इन योजनाओं के लिए आपने कर्ज लिया जिसे हम पटा रहे हैं।

Created On :   12 March 2022 4:58 PM IST

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