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RTE एडमिशन में गड़बड़ी, वेरिफिकेशन कमेटी से शिकायत कर रहे पैरेंट्स
डिजिटल डेस्क, नागपुर। RTE एडमिशन प्रक्रिया में आवंटित स्कूल को बरसों से ताला लगा होना और प्रवेश से पहले एक्टिविटी फीस वसूल करने के मामले का खुलासा हुआ है। वेरिफिकेशन कमेटी ने पालकों की शिकायतों का संज्ञान लेकर प्रत्यक्ष मुआयना कर स्कूलों द्वारा की जा रही गड़बड़ी से पर्दा उठाया है।
स्कूल को ताला, सामने बंधा बकरा
RTE अंतर्गत ड्रॉ निकालकर चयन किए गए स्टूडेंट्स के दस्तावेजों का वेरिफिकेशन करने कमेटी गठित की गई है। कमेटी को स्कूलों में गड़बड़ी की शिकायतें मिल रही हैं। उपरोक्त दो शिकायतों पर संज्ञान लेकर वेरिफिकेशन कमेटी सदस्य तथा आरटीई एक्शन कमेटी चेयरमैन शाहिद शरीफ ने प्रत्यक्ष स्कूल का मुआयना किया। एसआई स्कूल को ताला लगा मिला। स्कूल के गेट के सामने बकरा बंधा था। वहीं स्वामी अवधेशानंद स्कूल में RTE अंतर्गत प्रवेश के लिए 2 हजार रुपए एक्टिविटी फीस वसूल किए जाने के सबूत के तौर पर स्कूल से दिया गया पत्र पालक ने उन्हें दिया है।
यह उठ रहे हैं सवाल
RTE प्रवेश प्रक्रिया में पहले स्कूल का रजिस्ट्रेशन किया जाता है। स्टूडेंट्स की मंजूर संख्या के आधार पर 25 प्रतिशत सीट RTE प्रवेश के लिए आरक्षित रखी जाती हैं। यूडास पोर्टल पर यह संपूर्ण जानकारी डाउनलोड की जाती है। जो स्कूल बरसों से बंद पड़ा है, उस स्कूल को यूडास पोर्टल में शामिल किए जाने से RTE प्रवेश प्रक्रिया पर सवाल उठने लगे हैं।
केस नंबर-1
अदिबा खान (नंबर 19 एनजीओ 3889) को नालसाहब रोड हंसापुरी स्थित एसआई कान्वेंट आवंटित किया गया। ड्रॉ में नंबर लगने पर उसके पालक संबंधित स्कूल पहुंचे। स्कूल को ताला लगा हुआ था। स्कूल की हालत देख बंद पड़ा होने का अंदेशा हुआ। उन्होंने पड़ोस में लोगों से पूछने पर पता चला, काफी वर्षों से स्कूल बंद है। ड्रॉ में नंबर लगने पर बच्ची को नि:शुल्क शिक्षा मिलने की उनकी आशा स्कूल बंद मिलने से निराशा में बदल गई। उन्होंने RTE वेरिफिकेशन कमेटी से मिलकर अपनी व्यथा बयां की।
केस नंबर-2
स्मिता जाधव की शिकायत है कि, RTE अंतर्गत उनके बच्चे को नंदनवन स्थित स्वामी अवधेशानंद स्कूल आवंटित किया गया है। उसका नंबर 19 एनजीओ 34722 है। स्कूल में एडमिशन लेने के लिए जाने पर एक्टिविटी फीस के नाम पर पहले उन्हें 2 हजार रुपए जमा करने के लिए कहा गया है। RTE नियम में किसी भी प्रकार की फीस भरने का उल्लेख नहीं है। इसके बावजूद फीस वसूली जाने से मेरे बच्चे को प्रवेश नहीं दिया जा रहा है।
Created On :   20 April 2019 2:19 PM IST