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जिन बच्चों के माता-पिता कोरोना से असमय जीवन गवां बैठे हैं वे हमारी जिम्मेदारी-मुख्यमंत्री श्री चौहान!

डिजिटल डेस्क | सीहोर मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि आज मुख्यमंत्री निवास में उन बच्चों के साथ दीपावली मनाई, जिनके माता-पिता कोरोना से असमय जीवन गवाँ बैठे हैं। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने ऐसे बच्चों के लिए मुख्यमंत्री कोविड बाल सेवा योजना लागू की है। योजना में हितग्राही बच्चों की नि:शुल्क पढ़ाई-लिखाई की व्यवस्था के साथ नि:शुल्क राशन एवं आर्थिक सहायता का प्रावधान है। प्रदेश के 1365 बच्चे योजना के हितग्राही हैं। इनमें से चयनित 66 बच्चों के साथ आज मुख्यमंत्री श्री चौहान ने दीपावली का पर्व मनाया और बच्चों के साथ दोपहर का ग्रहण किया। प्रदेश के करीब डेढ़ हजार बच्चे योजना के हितग्राही हैं। इनमें से चयनित 50 बच्चों के साथ दीपावाली के दिन मुख्यमंत्री श्री चौहान ने दोपहर का भोजन किया।
इन बच्चों को प्यार-दुलार किया और कहा कि आप अपने को अकेला न समझें। पूरी हिम्मत के साथ जीवन जिएँ और अच्छी पढ़ाई-लिखाई कर जीविका का सम्मानजनक माध्यम प्राप्त करें। सरकार आपके साथ है। मामा भी आपके सुख-दुख में शामिल है और हमेशा रहेगा। मुख्यमंत्री श्री चौहान मुख्यमंत्री कोविड-19 बाल सेवा योजना के हितग्राहियों के लिए मुख्यमंत्री निवास में आयोजित कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। कार्यक्रम में भोपाल, सीहोर, रायसेन, विदिशा, राजगढ़ और होशंगाबाद के लगभग 66 बच्चों ने भाग लिया। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने अन्य जिलों के बच्चों से भी वर्चुअली संवाद किया। मुख्यमंत्री निवास में आयोजित कार्यक्रम में 10 वर्ष से कम आयु के 10 बच्चे, 11 से 15 आयु वर्ष के 23 बच्चे और 16 वर्ष से अधिक आयु के 33 बच्चों ने भाग लिया।
कलेक्टर कार्यालय सीहोर के एनआईसी कक्ष में वे सभी बच्चे शामिल हुए जो मुख्यमंत्री निवास नही जा पाए। कलेक्टर चन्द्र मोहन ठाकुर ने इन बच्चों को भोजन कराया, मिठाइयॉं, चॉकलेट दी और उनके साथ समय बिताया। इस दौरान श्री ठाकुर ने बच्चों से पढ़ाई, रूचि एवं खेलकूद गतिविधियों संबंधी वार्तालाप करते हुए कहा कि वे अकेला महसूस न करें। सरकार उनकी मदद के लिए हमेशा उनके साथ खड़ी है। कोई भी समस्या या परेशानी आए तो तुरंत बताएं ! अमूल्य पूँजी होते हैं माता-पिता मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बच्चों से कहा कि मैं आप सबका कष्ट जानता हूँ। माता-पिता अमूल्य पूँजी होते हैं। उनके न होने का एहसास तो होगा पर दुखी नहीं होना है। अच्छी तरह पढ़ाई और जीवन में कुछ अच्छा कार्य करके उनका नाम रौशन करना है।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बच्चों को बताया कि दुनिया के अनेक बड़े लोगों ने बचपन में ही माता-पिता को खो दिया था, लेकिन उन्होंने जीवन में विशिष्ट स्थान प्राप्त किया। ऐसे लोगों में पंडित दीनदयाल उपाध्याय भी शामिल हैं। कष्ट प्रद स्थिति में रहते हुए उन्होंने गंभीरता से अध्ययन किया और एक सफल इंसान बने। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि बिती बातें भूलकर जीवन में आगे बढ़ना होता है। आप सब लोग भी आगे बढ़ें। आप लोगों को कोई कठिनाई नहीं आने दी जाएगी। आपके अध्ययन की समुचित व्यवस्था की गई है। आगे भी जीवन का मार्ग तय करने में सरकार आपके साथ रहेगी। मुख्यमंत्री ने बच्चों से किया आत्मीय संवाद मुख्यमंत्री श्री चौहान ने अनेक बच्चों से आत्मीय संवाद किया। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि आपके हौंसले की मैं दाद देता हूँ। आप आगे बढ़ें, हर कदम पर हम आपके साथ हैं।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि आपके लिये संरक्षण निधि के रूप में प्रतिमाह 5 हजार रूपए की व्यवस्था की गई। आपकी पढ़ाई में कोई बाधा उत्पन्न नहीं होगी। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बच्चों से कहा आपको आगे बढ़ना है। लक्ष्य तय करें, क्या बनना है मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बच्चों से आत्मीयतापूर्वक बातचीत की। उन्हें स्नेह के साथ आशीर्वाद दिया। मुख्यमंत्री ने बच्चों से कहा चिंतित न हों मामा आपके साथ हैं। आपकी देखरेख में कोई कमी नहीं रहेगी। इस अवसर पर श्रीमती साधना सिंह भी उपस्थित रहीं। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने मुख्यमंत्री निवास में आमंत्रित बच्चों के पास जाकर उनका हालचाल पूँछा। उन्हें हौसले के साथ अध्ययन में जुटे रहने का आह्वान किया। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि पुलिस में 30 प्रतिशत स्थान बेटियों के लिए हैं। आपका परिश्रम आपको हर क्षेत्र में सफलता दिलवाएगा। अधिकाँश बच्चों ने सेना, पुलिस और चिकित्सा के क्षेत्र में सेवाएँ देने की इच्छा जताई। इन बच्चों में निकिता, आशीष यादव, आयुष और माही शामिल हैं। बच्चों को सुनाईं तीन प्रेरक कहानियाँ मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कोरोना में माँ-बाप को खोने वाले बच्चों को तीन प्रेरक कहानियाँ भी सुनाई। इनमें गुरू द्रोणाचार्य से शिक्षा प्राप्त करते हुए
Created On :   5 Nov 2021 2:56 PM IST