एनएच 30 पर खतरा बढ़ा: नियम ताक पर रख हाईवे से महज 2 मीटर दूर डाला जा रहा खदान का मलबा
डिजिटल डेस्क, जबलपुर। जाखोदिया मिनरल्स द्वारा नियम ताक पर रख, गांधीग्राम में एनएच-30 के किनारे अपनी खदान का मलबा (ओवर बर्डन) डंप किए जाने का बड़ा मामला सामने आया है। जहां मलबा डंप किया जा रहा है, उक्त कृषि भूमि का न तो डायवर्सन हुआ है और न ही प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से एनओसी ली गई है। मलबा डंप करने और इसे लेकर आने वाले डंपरों से हाईवे पर बड़ी मात्रा में धूल जमा होने लगी है। इससे वाहनों के फिसलकर दुघटनाग्रस्त होने का खतरा बढ़ गया है। गौरतलब है कि गांधीग्राम से गोसलपुर के बीच के 6 किलामीटर के हिस्से से गुजरने वाले खनिज से भरे 2 हजार वाहनों की धूल पहले से ही एनएचएआई के साथ वाहन चालकों की मुश्किलें बढ़ाए हुए है।
हाईवे के किनारे ओबी डाल दिए जाने से हादसों का खतरा और बढ़ गया है। एनएचएआई धूलके कारण हाईवे के रख-रखाव में हो रही दिक्कतों और बढ़ते हादसों का मामला प्रशासन के संज्ञान में ला चुका है। इस नये मामले को लेकर प्रोजेक्टर डायरेक्टर ने मप्र पदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारियों से चर्चा करने की बात कही है। बोर्ड के आरओ आलोक जैन ने के अनुसार जाखोदिया मिनरल्स को हाईवे के किनारे ओबी डालने की अनुमति नहीं दी गई है। उसे नोटिस दिया जा रहा है।
पंद्रह दिन से चल रहा क्रम
जाखोदिया द्वारा रामपुर टोला की सरकारी नर्सरी के 0.445 हेक्टेयर हिस्से पर ओबी डाल कर कब्जा करने पर एसडीएम सिहोरा ने 15 दिन के अंदर मलबा हटाने के निर्देश दिए थे। इस अल्टीमेटम के बाद कंपनी प्रबंधन ने हाईवे के किनारे (जबलपुर-सिहोरा साइड पर) नायरा पेट्रोल पंप के पास 0.25 हेक्टेयर (खसरा क्र.1474/1) कृषि भूमि पर नर्सरी में पड़ी ओबी व टेली डालना शुरू कर दिया। उक्त भूमि का अभी डायवर्सन नहीं हुआ है। एमपीपीसीबी के आरओ भी उक्त भूमि पर ओबी डालने की अनुमति दिए जाने से इंकार कर चुके हैं। यानि सारा काम नियम ताक पर रख कर किया जा रहा है। इस मामले में जाखोदिया प्रबंधन का पक्ष जानने माइंस प्रबंधक तथा लाइजनर विनय झा को उनके मोबाइल नंबर 8815482945 पर 2 बार कॉल किया, वाट्सएप तथा एसएमएस पर मैसेज भी भेजा, लेकिन जवाब नहीं दिया।
तकनीकी टीम की रिपोर्ट : गांधीग्राम में साइड शोल्डर हुए डैमेज
सोमवार को एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर अमृत साहू ने अपनी तकनीकी टीम के साथ गांधीग्राम में हाइवे के उस 500 मीटर के हिस्से का निरीक्षण व परीक्षण किया, जहां हाईवे से बमुश्किल 50 मीटर दूर स्थापित कैपिटल मिनरल्स द्वारा अपनी खदान का पानी छोड़ा जा रहा था। श्री साहू ने बताया कि निरीक्षण में हाईवे के साइड शोल्डर डैमेज पाए गए। पानी के कारण साइड की मिट्टी को बहुत ज्यादा नुकसान पहुंचा है और उसकी पकड़ कमजोर हो रही है। उन्होंने कहा, अब यहां सुधार कार्य कराते हुए इस करीब 500 मीटर के हिस्से को सुरक्षित किया जाएगा। इस मामले में स्टेट अथॉरिटी जिला प्रशासन तथा प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के माध्यम से खदान संचालकों से बात करने और खदान के बाहर पानी छोडऩे पर सख्ती से प्रतिबंध लगाये जाने पर चर्चा करने की भी बात उन्होंने कही।
Created On :   19 Dec 2023 6:22 PM IST