कांग्रेस पर आरोप लगाने वाली बीजेपी इस मामले में आज भी कांग्रेस से पीछे, राष्ट्रीय अध्यक्ष के पद पर अब तक नहीं दिया आधी आबादी को मौका
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- बीजेपी में महिला तो कांग्रेस में गैर गांधी नेहरू परिवार की महिला नहीं बनी अध्यक्ष
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। आजादी के बाद से कई दशकों तक भारत में केवल कांग्रेस पार्टी का ही राजनैतिक दबदबा रहा, उस समय देश की सबसे बड़ी पार्टी वक्त बीतने के साथ साथ धीरे धीरे कमजोर होती चली गई। आज देश की सबसे बड़ी पार्टी को बड़ी पार्टी होने के नाते से नहीं बल्कि देश की सबसे पुरानी पार्टी होने के नाते से अधिक संबोधित किया जाता रहा है। बड़ी पार्टी धीरे धीरे अपने वर्चस्व को खोती चली गई। इसके पीछे की वजह विरोधी राजनैतिक दलों द्वारा कांग्रेस की कार्यशैली पर लगातार सवाल उठाना रहा। आजादी के साथ देश के बदलते राजनैतिक, सामाजिक समीकरणों ने नई नई पार्टियों को जन्म तो दिया ही, समय समय के चुनावी मौसम में इन विरोधी पार्टियों ने कांग्रेस पर गांधी परिवार के वंशवाद का आरोप लगाकर कमजोर किया। लेकिन आपको बता दें भले ही विरोधी पार्टियां कांग्रेस पर वंशवाद का आरोप लगाते लगाते नहीं थकती फिर भी आपकी जानकारी के लिए बता दें कांग्रेस ने आजादी के बाद से दो महिलाओं और 13 गैर गांधी नेहरू परिवार के लोगों को कांग्रेस की कमान सौंपकर पार्टी का अध्यक्ष बनाया है। अभी तक गांधी परिवार के पांच सदस्य ही कांग्रेस अध्यक्ष बने है, लेकिन आजादी के बाद से अब तक 75 सालों के 41 साल तक कांग्रेस अध्यक्ष के रूप में नेहरू गांधी परिवार के सदस्य ही रहे हैं।
आपको बता दें आजादी के बाद से कांग्रेस ने जिन दो महिलाओं पूर्व पीएम इंदिरा गांधी,और सोनिया गांधी को अध्यक्ष बनाया है, वो दोनों ही गांधी नेहरू परिवार से ही नाता रखती है।
बीजेपी में अभी तक नहीं बनी महिला अध्यक्ष
अभी कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव चर्चा का विषय बना हुआ है, देश की सबसे बड़ी पार्टी बीजेपी भले ही देश की सबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस पर वंशवाद का आरोप लगाते नहीं थकती हो लेकिन आपको बता दें कांग्रेस ने अभी तक 13 गैर गांधी नेहरू परिवार के नेताओं को पार्टी का अध्यक्ष बनाया है, साथ ही कांग्रेस में आजादी के बाद से दो महिलाओं को भी राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया है, जिसमें भाजपा अभी तक पूरी तरह विफल रही है। या, ये मानों की बीजेपी ने 1980 से अब तक किसी भी महिला को पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष नहीं बनाया है।
संगठनात्मक चुनाव के लिए लोकतांत्रिक व्यवस्था
वंशवाद का आरोप झेलने वाली कांग्रेस पार्टी का कहना है कि कांग्रेस ही देश में एक मात्र ऐसी राजनीतिक पार्टी है जिसमें अध्यक्ष पद के लिए चुनाव की लोकतांत्रिक और पारदर्शी व्यवस्था है। जबकि बीजेपी में लोकतांत्रिक व्यवस्था नहीं है। जबकि कांग्रेस के पास संगठनात्मक चुनाव कराने के लिए एक स्वतंत्र चुनाव प्राधिकरण है। कांग्रेस में अध्यक्ष चयन के लिए स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव होता है।
कब बनेंगी गैर गांधी नेहरू परिवार की महिला अध्यक्ष ?
अब सवाल यह है कि कांग्रेस में जो दो महिला अध्यक्ष पद पर रही है वो गाँधी नेहरू परिवार से ही तालुल्क रखती है। कांग्रेस ने 13 गैर गांधी नेहरू परिवार के लोगों को अध्यक्ष तो बनाया है, लेकिन उनमें एक भी महिला नहीं रही। हाल ही में कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी नारी शक्ति की बात करते करते नहीं थक रही थीं , जिनके एक बोल पर पूरी कांग्रेस एक लाइन में नजर आती है। क्या ऐसी कांग्रेस में ये संभव नहीं हो सकता है कि कांग्रेस में हो रहे अध्यक्ष चुनाव में कोई महिला प्रत्याशी नामांकन करे। अगर कांग्रेस में कोई महिला अध्यक्ष निर्वाचित होती है तो आगामी चुनावों में कांग्रेस बीजेपी पर हमलावर हो सकती है क्योंकि बीजेपी ने चार दशक में एक भी बार किसी भी महिला को अध्यक्ष घोषित नहीं किया है। सोनिया गाँधी अभी पार्टी की कार्यवाहक अध्यक्ष का पद संभाल रही है तो अब सवाल उठता है फिर एक बार महिला क्यों नहीं?
Created On :   23 Sept 2022 5:09 PM IST