बंगाल प्राथमिक शिक्षक भर्ती परीक्षा के लिए बायोमेट्रिक उपस्थिति प्रणाली शुरू करेगा
डिजिटल डेस्क, कोलकाता। विभिन्न स्तरों पर शिक्षक भर्ती को लेकर कई विवादों के बाद, पश्चिम बंगाल प्राथमिक शिक्षा बोर्ड (डब्ल्यूबीबीपीई) ने अब राज्य में प्राथमिक शिक्षकों की भर्ती के लिए परीक्षा केंद्रों पर बायोमेट्रिक उपस्थिति प्रणाली शुरू करने का फैसला किया है।
इससे किसी उम्मीदवार की ओर से किसी तीसरे व्यक्ति के लिखित परीक्षा में बैठने की संभावना समाप्त हो जाएगी। लिखित परीक्षा से लेकर ऑप्टिकल मार्क रिकग्निशन (ओएमआर) शीट की माकिर्ंग, इंटरव्यू और अंत में काउंसलिंग प्रक्रिया तक पूरी भर्ती प्रक्रिया की वीडियो-रिकॉडिर्ंग होगी। शिक्षा विभाग के सूत्रों ने कहा कि डब्ल्यूबीबीपीई के नवनियुक्त अध्यक्ष गौतम पाल पूरी भर्ती प्रक्रिया में पूरी पारदर्शिता लाना चाहते हैं ताकि बाद में कदाचार की शिकायत का मौका न मिले।
पाल को उनके पूर्ववर्ती और तृणमूल कांग्रेस विधायक माणिक भट्टाचार्य को कलकत्ता उच्च न्यायालय के एक आदेश के बाद हटा दिए जाने के बाद पद की पेशकश की गई थी। भट्टाचार्य अभी प्रवर्तन निदेशालय की हिरासत में हैं। पाल ने कुर्सी संभालने के बाद अपनी पहली प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि उनकी प्राथमिकता व्यवस्था में पूर्ण पारदर्शिता लाकर भर्ती प्रक्रिया को भ्रष्टाचार मुक्त बनाना है।
पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए ये कदम ऐसे समय में उठाए गए हैं जब राज्य के पूर्व शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी और पश्चिम बंगाल स्कूल सेवा आयोग (डब्ल्यूबीएसएससी) के कई शीर्ष अधिकारी शिक्षक भर्ती घोटाले में कथित संलिप्तता के लिए न्यायिक हिरासत में हैं।
केंद्रीय जांच ब्यूरो ने हाल ही में कलकत्ता उच्च न्यायालय को एक आरोप-पत्र प्रस्तुत किया है, जहां उसने ऐसे मामलों की ओर इशारा किया है जहां अपात्र उम्मीदवारों के अंक यहां तक कि खाली ओएमआर शीट जमा करने वालों के अंक डब्ल्यूबीएसएससी के सर्वर में 53 तक कर दिए गए थे।
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Created On :   22 Oct 2022 7:30 PM IST