लोकसभा चुनाव 2024: क्राउडफंडिंग से कन्हैया ने जुटाई इतनी रकम, अब तक मिले इतने रूपये, मदद के लिए आगे आए ये लोग

क्राउडफंडिंग से कन्हैया ने जुटाई इतनी रकम, अब तक मिले इतने रूपये, मदद के लिए आगे आए ये लोग

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। चुनाव अभियान के लिए धन इकट्ठा करने के इरादे से उत्तर पूर्वी दिल्ली लोकसभा सीट से कांग्रेस उम्मीदवार और जेएनयू के पूर्व छात्र कन्हैया कुमार ने क्राउडफंडिंग शुरू की थी। जिसका काफी अच्छा जनसमर्थन भी देखने को मिल रहा है। क्राउडफंडिंग के जरिए कन्हैया ने अपने 92 लाख 50 हजार रुपय के निर्धारित लक्ष्य से करीबा आधे पैसे जुटा लिए हैं। उनके इस चुनाव अभियान में बॉलीवुड फिल्म निर्माता विशाल भारद्वाज से लेकर कॉमेडियन कुणाल कामरा तक ने अपना योगदान दिया है। इसके अलावा जेएनयू के प्रोफेसरों से लेकर विदेशी विश्विद्यालयों के शिक्षकों और आम लोगों ने भी योगदान दिया है।

अब तक जुटाए 47 लाख रुपये

कन्हैया ने मंगलवार दोपहर तक क्राउडफंडिंग के जरिए 47 लाख रुपय जुटा लिए हैं। जो कि उनके निर्धारित लक्ष्य 92 लाख 50 हजार रुपय से आधा है। हालांकि, चुनाव प्रचार अभियान खत्म होन में अभी दो दिन और हैं। बता दें कि, कन्हैया ने पिछले बुधवार को एक वेब प्लेटफॉर्म फ्यूलअड्रीम डॉट कॉम की मदद से प्रचार अभियान की शुरुआत की थी। इस दौरान उन्होंने एक वीडियो शेयर करते हुए कहा था कि इस वेबसाईट के माध्यम से आप ऑनलाइन क्राउडफंडिंग में शामिल हो सकते हैं। साथ ही उन्होंने यह भी कहा था कि हम यह चुनाव क्राउडफंडिंग से लड़ रहे हैं क्योंकि हमें लगता है कि लोगों की लड़ाई लोगों के समर्थन से ही लड़ी जा सकती है।

100 रुपये से लेकर 5 लाख तक का डोनेशन

कन्हैया के इस अभियान में 100 रुपये से लेकर 5 लाख तक की मदद मिली है। धन देने वालों ने अपना नाम नहीं बताया और अधिकतर लोगों ने छोटी धनराशि दान की है। बता दें कि, कन्हैया कुमार का चुनावी मुकाबला इस बार बीजेपी नेता मनोज तिवारी से है।

सबसे ज्यादा 100-200 रुपये मिले

कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय मीडिया पैनलिस्ट और कन्हैया के इस अभियान को संभाल रहे अंशुल त्रिवेदी के मुताबिक डोनेशन करने वाले लोगों में छोटी रकम देने वाले लोगों की संख्या सबसे अधिक है। उन्होंने कहा कि दान अधिकतर उन लोगों की ओर से आ रहा है जो केवल राजनीति में भाग लेना चाहते हैं। वह जमीन पर उतरने के बजाय सिर्फ हमारा समर्थन करना चाहते हैं। अधिकतर दानकर्ताओं ने 100 से लेकर 200 रुपय की छोटी रकम दी है क्योंकि यह लोग कन्हैया का आधार हैं। जिन लोगों ने दान किया है उनमें से ज्यादातर लोग आम आदमी, श्रमिक, किसान, मजदूर, छात्र और पहली पीढ़ी के शिक्षार्थी हैं। यह वह लोग हैं जो राजनीति में कन्हैया कुमार को आगे देखना चाहते हैं।

कांग्रेस क्यों अपना रही क्राउडफंडिंग का रास्ता?

प्रचार अभियान शुरु करने पर सवाल पूछे जाने पर त्रिवेदी ने कहा, ' इस चुनाव में कांग्रेस पार्टी धन की कमी का सामना कर रही है, इसलिए हम क्राउडफंडिंग कर रहे हैं।' उन्होंने आगे कहा, 'यह सरकार कोई सामन्य सरकार नहीं है। चुनाव से पहले सत्ता दल ने देश के सबसे बड़े विपक्षी दल के बैंक खाते फ्रीज कर दिए। यह तो भला है कि सुप्रीम कोर्ट ने इसे उलट दिया है। इस चुनाव में सबके पास समान अवसर नहीं है।'

विशाल भारद्वाज से लेकर कॉमेडियन कुनाल कामरा ने किया दान

कांग्रेस के प्रचार अभियान के लिए दान देने वालों में बॉलीवुड फिल्म निर्माता विशाल भारद्वाज और उनकी पत्नी और फेमस सिंगर रेखा भारद्वाज के अलावा कॉमेडियन कुनाल कामरा का नाम भी शामिल है। इनके अलावा कन्हैया को शिक्षकों का भी सपोर्ट मिला। दान देने वालों में जेएनयू की पूर्व प्रोफेसर जयति घोष, हरबंस मुखिया और मोहन राव का नाम शामिल है। वहीं, विदेशी विश्विद्दालयों के शिक्षकों ने भी इस अभियान में अपना योगदान दिया है। अमेरिका के जॉन्स हॉपकिन्स विश्विद्दाल सहित विदेश के तमाम विश्विद्दालयों के शिक्षकों ने भी कांग्रेस के प्रचार में अपना योगदान दिया है।

क्या बोलीं जेएनयू की पूर्व प्रोफेसर?

जेएनयू की पूर्व प्रोफेसर जयति घोष ने कहा कि उन्हें कन्हैया के अभियान में योगदान देने पर गर्व है। उन्होंने कहा, ' न सिर्फ इसलिए कि मेरा मानना है कि कन्हैया इस देश में बीते लंबे वक्त के दौरान पैदा हुए सबसे होनहार युवा राजनेताओं में से एक हैं, जो कि वास्तव में प्रगतिशील और समतावादी दृष्टिकोण रखते हैं, बल्कि इसलिए भी कि यह जनता को आकर्षित करने और धनबल के बेहद खतरनाक प्रभाव का जवाब देने का एक तरीका है।'

क्या बोले कुनाल कामरा?

कॉमिडियन कुनाल कामरा ने अपने 'एक्स' अकाउंट के जरिए कन्हैया के क्राउडफंडिंग अभियान की लिंक शेयर करते हुए लिखा था, 'उन सब प्यारे लोगों के लिए जिन्होंने मुझसे यह पूछा था कि वे मेरी मदद कैसे कर सकते हैं, मैं बस यह कहूंगा कि इस लोकसभा चुनाव में कृपया डॉ कन्हैया कुमार के अभियान का समर्थन करें।'

'धन जुटाने का माध्यम बदल गया'

सेंटर फॉर पॉलिसी रिसर्च (सीपीआर) के राहुल वर्मा के मुताबिक क्राउडफंडिंग हमेशा से ही राजनेताओं के चुनाव अभियान का हिस्सा रही है। राहुल ने कहा कि ऐसा हर साल विश्व के सभी क्षेत्रों में होता है कि प्रत्याशी अपने निर्वाचन क्षेत्रों से पैसा जुटाते हैं। अब धन जुटाने का माध्यम बदल गया है।

लोकसभा चुनाव 2019 में भी कन्हैया कर चुके हैं क्राउडफंडिंग

आपको बता दें कि कन्हैया पहली बार क्राउडफंडिंग नहीं कर रहे हैं। इससे पहले 2019 के लोकसभा चुनाव में बिहार की बेगुसराय सीट से चुनाव लड़ते हुए भी क्राउडफंडिंग की थी। तब उन्होंने कुल 70 लाख रुपय की धनराशि इकट्ठा की थी। यह अभियान तब शुरु किया गया था जब कांग्रेस के प्रत्याशी अपना चुनाव अभियान चलाने के लिए पैसे की कमी से जूझ रहे थे। बता दें कि, इस महीने की शुरुआत में ओडिशा की पुरी लोकसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी सुचारिता मोहंती ने यह कहते हुए अपना टिकट लौटा दिया था कि उनके पास पैसे नहीं हैं। क्योंकि पार्टी चुनाव लड़ने के लिए पर्याप्त संसाधन नहीं उपल्बध करा पाई है।

Created On :   21 May 2024 3:31 PM GMT

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