हैकिंग पर बवाल: क्या आईफोन को हैक किया जा सकता है? फोन हैक होने पर मचे बवाल के बीच कंपनी ने खुद बताया कितने लेवल में काम करता है सिक्योरिटी सिस्टम?

क्या आईफोन को हैक किया जा सकता है? फोन हैक होने पर मचे बवाल के बीच कंपनी ने खुद बताया कितने लेवल में काम करता है सिक्योरिटी सिस्टम?
  • फोन हैकिंग पर मचा सियासती बवाल
  • केंद्र पर विपक्ष ने साधा निशाना

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। एप्पल का फोन सुनकर अचानक दिमाग में महंगाई का ख्याल आता है। एप्पल से जुड़े तमाम टेक्नोलॉजी बहुत ही एक्सपेंसिव होती हैं। इनके अलाव सिक्योरिटी के लिहाज से भी ये बहुत ही सेफ माने जाते हैं लेकिन बीते दिन देश की विपक्षी दलों ने केंद्र की मोदी सरकार पर उस समय हैंकिग का आरोप लगाया जब एप्पल की ओर से उन्हें अलर्ट मैसेज भेजा गया। विपक्ष ने मोदी सरकार पर जासूसी करने का आरोप लगाया है। तब से सियासत गरमाई हुई है।

एप्पल ने विपक्षी नेताओं को मैसेज भेजा, जिसमें कहा गया था, "स्टेट स्पॉन्सर्ड अटैकर्स आपका आईफोन टारगेट कर रहे हैं। अटैकर्स आपकी एपल आईडी के जरिए रिमोटली आईफोन का एक्सेस लेने की कोशिश कर रहे हैं। ये अटैकर्स आपको व्यक्तिगत तौर पर कर रहे हैं। यदि आपके डिवाइस के साथ किसी स्टेट स्पॉन्सर्ड अटैकर्स ने छेड़छाड़ की है, तो वे आपके संवेदनशील डेटा, कम्युनिकेशन और यहां तक ​​कि कैमरा और माइक्रोफोन तक रिमोटली पहुंच सकते हैं। आप इस चेतावनी को गंभीरता से लीजिए।" इसके बाद से सवाल उठ रहे हैं कि आखिर आईफोन का सिक्योरिटी सिस्टम काम कैसे करता है और क्या उसे हैक किया जा सकता है।

4 बड़े फैक्टर्स पर काम करता है आईफोन

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पूरी दुनिया में एप्पल का फोन इस्तेमाल करने वाले 146 करोड़ लोग हैं। जबकि साल 2020 के आंकड़ों के मुताबिक भारत में इसके करीब 60 लाख लोग थे जो आईफोन का उपयोग करते थे। लेकिन अब इसका आकंड़ा काफी हद तक बढ़ गया होगा। प्राइवेसी को अपना कोर बताने वाले एप्पल का सिक्योरिटी सिस्टम 4 बड़े फैक्टर्स पर काम करता है।

जानिए कौन-कौन से हैं वो फैक्टर्स?

पहले का नाम सिक्योरिटी एपीआई है जो हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर को जोड़कर फोन सुरक्षित रखता है। दूसरा है टू फैक्टर सर्टिफिकेशन, ये आपके फोन को दूसरे लोग से सुरक्षित रखता है जो आपके फोन के बारे में जानकारी हासिल करना चाहते हैं। तीसरा पासकोड होता है , जो चार डिजिट कोड के फोन को सुरक्षित रखता है। चौथा, फेशियल आईडी, जो सबसे सुरक्षित मानी जाती है। इसके जरिए सिर्फ ग्राहक अपने फेस का इस्तेमाल करके फोन अनलॉक कर सकता है।

कंपनी ने क्या कहा?

अब सवाल उठाता है कि इतनी सुरक्षा के बाद क्या आईफोन को हैक किया जा सकता है? इस पूरे मामले पर केंद्रीय सूचना प्रोद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव कहते हैं कि, इस मामले को सरकार देख रही है, जांच के आदेश दे दिए है। उन्होंने आगे कहा कि एप्पल के अलर्ट पर बवाल मचा था लेकिन शाम होते ही कंपनी ने बयान जारी किया।

अपने बयान में कंपनी ने कहा है कि, स्टेट स्पॉन्सर्ड अटैक बहुत अच्छी फंडिंग वाले होते हैं, इनके अटैक के तरीके बदलते रहते हैं। इसलिए इनके अटैक का पता लगा पाना बेहद ही मुश्किल है। कंपनी ने ये भी कहा कि, कई बार ये फॉल्स अलार्म भी साबित हो जाते हैं। कंपनी ने अपने आगे के बयान में कहा कि, हम इसके पीछे के कारणों को नहीं बता पाएंगे नहीं तो हैकर्स को मदद मिल सकती है।

Created On :   1 Nov 2023 2:29 PM IST

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