स्वास्थ्य/चिकित्सा: 'प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना' कैंसर के मरीजों के लिए वरदान साबित हुई डॉ. पीयूषा कुलश्रेष्ठ

प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना कैंसर के मरीजों के लिए वरदान साबित हुई  डॉ. पीयूषा कुलश्रेष्ठ
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा गरीबों के लिए चलाई जा रही 'प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना' 'संजीवनी' साबित हो रही है। खासतौर पर कैंसर के मरीजों के लिए यह वरदान साबित हुई है। कैंसर के मरीज इस योजना के तहत देश के उन अस्पतालों में इलाज करा सकते हैं जो पंजीकृत हैं। दिल्ली के प्रीत विहार स्थित मेट्रो कैंसर इंस्टीट्यूट प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना के तहत पंजीकृत है। यहां आयुष्मान योजना के तहत कैंसर से पीड़ित मरीजों का इलाज किया जा रहा है।

नई दिल्ली, 4 फरवरी (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा गरीबों के लिए चलाई जा रही 'प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना' 'संजीवनी' साबित हो रही है। खासतौर पर कैंसर के मरीजों के लिए यह वरदान साबित हुई है। कैंसर के मरीज इस योजना के तहत देश के उन अस्पतालों में इलाज करा सकते हैं जो पंजीकृत हैं। दिल्ली के प्रीत विहार स्थित मेट्रो कैंसर इंस्टीट्यूट प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना के तहत पंजीकृत है। यहां आयुष्मान योजना के तहत कैंसर से पीड़ित मरीजों का इलाज किया जा रहा है।

'आयुष्मान योजना' से कैंसर के मरीजों को हो रहे लाभ के बारे में सीनियर कंसल्टेंट और एचओडी रेडिएशन ऑन्कोलॉजी डॉ. पीयूषा कुलश्रेष्ठ ने न्यूज एजेंसी आईएएनएस से बात की। उन्होंने बताया कि पीएम मोदी द्वारा चलाई जा रही 'प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना' के तहत हमारा अस्पताल पंजीकृत है। हमारे पास यूपी-उत्तराखंड और बिहार राज्यों से काफी संख्या में मरीज आते हैं। यहां मरीजों के पंजीकरण के बाद हम लोग मरीज का इलाज एक सप्ताह के भीतर शुरू कर देते हैं। आर्थिक रूप से कमजोर लोगों के लिए यह योजना वरदान साबित हुई है।

डॉ. पीयूषा कुलश्रेष्ठ ने बताया कि मरीज को यह समझना बेहद जरूरी है कि कैंसर एक ऐसी बीमारी है जिसका इलाज संभव है। किसी मरीज को अगर सही समय पर उपचार दिया जाए तो कैंसर को हराया जा सकता है। कैंसर की बीमारी में यह बहुत जरूरी है कि हम समय का ध्यान रखें। कैंसर का इलाज संभव है, लेकिन जब उसका समुचित इलाज समय सीमा के अंदर हो जाए। ऐसा नहीं है कि पहले हम उसे छिपाएं या फिर किसी चिकित्सा का दूसरा ऑप्शन लें।

हर साल 4 फरवरी को कैंसर के रोकथाम के लिए विश्व कैंसर दिवस मनाया जाता है। इस दिन अस्पतालों और शिक्षण संस्थानों में कैंसर के प्रति जागरूकता लाने के लिए विशेष सेमिनार भी आयोजित किए जाते हैं।

बता दें कि दक्षिण-पूर्व एशिया क्षेत्र में कैंसर के नए मामलों और मौतों की संख्या में 85 प्रतिशत वृद्धि होने की आशंका है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने विश्व कैंसर दिवस पर यह जानकारी साझा की है।

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Created On :   4 Feb 2025 2:02 PM IST

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