मोटर व्हीकल बिल राज्यसभा में पारित, ट्रैफिक रूल्स तोड़ने पर लगेगा मोटा जुर्माना
- बिल के पक्ष में 108 और विपक्ष में 13 वोट पड़े
- इस बिल में जुर्माने की रकम 10 गुना तक बढ़ा दी गई है
- राज्यसभा में मोटर व्हीकल (संशोधन) विधेयक 2019 पारित हो गया
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। लोकसभा के बाद बुधवार को राज्यसभा में भी मोटर व्हीकल (संशोधन) विधेयक 2019 पारित हो गया। बिल के पक्ष में 108 और विपक्ष में 13 वोट पड़े। इस बिल में जुर्माने की रकम 10 गुना तक बढ़ा दी गई है। अगर आपने हेलमेट नहीं लगाया तो आपको 1000 रुपए का जुर्माना देना होगा। नए नियम में तीन महीने के लिए लाइसेंस जब्त करने का प्रावधान है। बिना लाइसेंस ड्राइविंग के पकड़े जाने पर 5000 रुपये का जुर्माना भरना पड़ेगा। इसी तरह के कड़े जुर्माने के प्रावधन इस बिल में किए गए हैं।
राज्यसभा में इस विधेयक के पारित होने पर केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, "हमारे देश में हर साल 5 लाख दुर्घटनाएं होती हैं, जिससे हर साल 1.5 लाख लोगों की मौत होती है। हम दुनिया में दुर्घटनाओं में पहले नंबर पर हैं, अब हमें इसे ठीक करने का मौका मिला है। उन्होंने कहा, "यह न केवल एक मोटर वाहन अधिनियम है, बल्कि एक सड़क सुरक्षा बिल भी है। मेरा मानना है कि इससे दुर्घटनाओं में कमी आएगी, इस विधेयक का पारित होना उन लोगों के लिए एक श्रद्धांजलि है, जिन्होंने दुर्घटनाओं में अपनी जान गंवाई।"
संशोधन विधेयक में क्या है प्रावधान?
- सीटबेल्ट या हेलमेट नहीं पहनने पर जुर्माना 100 रुपये से बढ़ाकर 1,000 रुपये करने का प्रावधान।
- ओवर-स्पीडिंग के लिए 5,000 रुपये जुर्माना लगेगा। मौजूदा जुर्माना 500 रुपये है।
- वर्तमान में बिना लाइसेंस वाहन चलाने पर 500 रुपये का जुर्माना वसूला जाता था। अब 5000 रुपये का जुर्माना भरना पड़ेगा।
- बिल में शराब पीकर गाड़ी चलाने पर जुर्माना 2,000 रुपये से बढ़ाकर 10,000 रुपये किया गया है।
- बिना योग्यता गाड़ी चलाने पर धारा-182 के तहत पहले 500 रुपये का जुर्माना था, जो अब बढ़ाकर 10 हजार रुपये कर दिया गया है।
- मोबाइल से बात करते पकड़े जाने पर पहले 1000 रुपये जुर्माना लगता था। जिसे बढ़ाकर 5000 रुपये कर दिया गया है।
- बिना सीट बेल्ट के पकड़े जाने पर अब 1000 रुपये का चालान कटेगा। पहले महज 100 रुपये का चालान कटता था।
- आपातकालीन सेवाओं के लिए रास्ता नहीं देने पर 10,000 रुपये के जुर्माने का प्रावधान किया गया है।
- बिना टिकट सरकारी बस में सफर करने पर (धारा-178) के तहत 500 रुपये का जुर्माना लगेगा। जबकि 200 रुपये का जुर्माना लगता था।
- नाबालिग को ड्राइविंग करते पकड़े जाने पर अभिभावक या गाड़ी के मालिक को दोषी माना जाएगा। जुर्माने के तौर पर 25000 रुपये वसूले जाएंगे और 3 साल की जेल भी हो सकती है।
- ड्राइविंग लाइसेंस और वाहन पंजीकरण के लिए आवेदन करने के लिए आधार संख्या का उपयोग अनिवार्य होगा।
- वर्तमान में, ड्राइविंग लाइसेंस 20 साल के लिए वैध है और बिल को राष्ट्रपति से मंजूरी मिलने के बाद वैधता 10 साल तक कम हो जाएगी।
- 55 साल की उम्र के बाद अपने लाइसेंस का नवीनीकरण कराने वाले लोगों की वैधता केवल पांच साल होगी। लाइसेंस की वेलिडिटी खत्म होने के बाद एक साल तक रिन्यू किया जा सकेगा।
- सड़क हादसे में मारे गए लोगों की मुआवजा राशि 5 लाख और गंभीर रूप से घायलों की 2.5 लाख की गई है।
Created On :   31 July 2019 11:25 PM IST